केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने गुजरात के द्वारका में नेशनल एकेडमी ऑफ कॉस्टल पुलिसिंग (NACP) के स्थायी परिसर का शिलान्यास किया. इस मौके पर गृह मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार ने भारतीय नौसेना, इंडियन कोस्ट गार्ड, समुद्री पुलिस, कस्टम्स और मछुआरों के साथ मिलकर सुरक्षा का एक सुदर्शन चक्र बनाया है. उन्होंने कहा कि खुले समंदर में भारतीय नौसेना के जहाज और विमानों द्वारा सुरक्षा की जाती है. मध्यस्तरीय समुद्र में भारतीय नौसेना तथा तटरक्षक बल सुरक्षा और टेरिटोरियल वाटर में बीएसएफ की वाटर विंग इसे अंजाम देता है और गांव में देशभक्त मछुआरे सूचना का माध्यम बनकर देश की सुरक्षा सुनिश्चित करते हैं.
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि इन सभी आयामों पर भारत सरकार ने एक सुगठित तटीय सुरक्षा नीति अपनाई है और एक इंटीग्रेटेड विचार के साथ बनाई गई नीति और रणनीति के माध्यम से देश के तटों को सुरक्षित करने का काम किया है. गृह मंत्री ने कहा कि हमारे देश ने तटीय सुरक्षा में कोताही के कारण कई दुष्परिणाम भुगते हैं. साल 2008 मुंबई हमले को कोई राष्ट्रभक्त नागरिक भुला नहीं सकता जिसमें जरा सी चूक के कारण 166 निर्दोष नागरिकों की जान चली गई थी. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार की तटीय सुरक्षा की नीति के बाद अगर दुश्मन ऐसी घटनाओं को अंजाम देने का प्रयास करेगा तो उसे करारा जवाब मिलेगा.
केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि कई स्तंभों पर इस तटीय सुरक्षा की नीति को तैयार किया गया है. इसमें तटीय सुरक्षा और इंटेलीजेंस के मामले में समन्वय और संवाद, संयुक्त तटीय गश्त द्वारा पेट्रोलिंग के प्रोटोकॉल तय करके निश्चित समय अंतराल पर पेट्रोलिंग की व्यवस्था, मछुआरों की सुरक्षा, 10 लाख से ज्यादा क्यूआर कोड वाले आधार कार्ड मछुआरों को देना, 1537 फिशलीडिंग पॉइंट्स पर सुरक्षा की व्यवस्था को सुनिश्चित करना और ब्लू इकोनामी के लिए बनाए हुए सभी मत्स्य बंदरगाहों पर सुरक्षा सुनिश्चित करना शामिल है. उन्होंने कहा कि इन सभी को जोड़कर तटीय सुरक्षा के लिए एक अभेद्य दुर्ग बनाने का काम मोदी सरकार ने किया है.
अमित शाह ने कहा कि पिछली सरकार के कार्यकाल में पोरबंदर जेल को नोटिफिकेशन निकालकर बंद करना पडा था और पोरबंदर हर प्रकार की चोरी का केन्द्र बन चुका था. मोदी के नेतृत्व में सरकार आने के बाद यहां जेल फिर शुरु हो गई और चोर भाग गए. उन्होंने कहा कि नरेन्द्र मोदी जी ने गुजरात को सुरक्षित करने का काम किया. चाहे कच्छ की जमीनी सीमा हो, सरक्रीक हो, हरामीनाला हो या फिर पोरबंदर का समुद्री किनारा हो, या फिर द्वारका-ओखा-जामनगर-सलाया का समुद्री किनारा हो, इन सभी स्थानों को सुरक्षित करने का काम नरेन्द्र मोदी जी ने किया है. आज नरेन्द्र मोदी जी ने देश के प्रधानमंत्री के रुप में उसी पद्धति से सभी राज्य सरकारों को साथ रखकर देश के समुद्री तटों को सुरक्षित करने के लिए इस ट्रेनिंग एकेडमी की स्थापना की है.
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