कांग्रेस नेता राहुल गांधी के लंदन में दिए गए बयानों से उठे विवाद पर आरएसएस ने कहा कि उनके पूर्वजों ने संघ पर प्रतिबंध लगाने के प्रयास किए थे. राहुल को अपने बयान ज़िम्मेदारी से देना चाहिए. संसद में बजट सत्र के दौरान राहुल गांधी के बयान के मुद्दे पर घमासान मचा हुआ है. सत्ता पक्ष का कहना है कि राहुल गांधी को अपने बयान पर माफी मांगनी चाहिए. हालांकि, कांग्रेस का कहना है कि राहुल गांधी ने कोई गलत बयानी नहीं की है.
हरियाणा के समालखा में अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक के बाद संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले ने प्रेस कांफ्रेंस की. इस दौरान उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के बयान पर कोई प्रतिक्रिया देने आवश्यक नहीं. हमारा कार्यक्षेत्र अलग है. उनके पूर्वजों ने भी संघ पर प्रतिबन्ध के प्रयास किये. मेरा उनसे सिर्फ यही कहना है, वो अपना बयान थोड़ी जिम्मेदारी से दें. आपातकाल में मैं भी जेल में था. देश को जिन्होंने जेल बनाया उन्होंने आज तक इसके लिए माफ़ी नहीं मांगी.
उन्होंने कहा कि अगली पीढ़ी के कार्यकर्ताओं को जल्दी नेतृत्व देना है. सामाजिक समरसता, परिवार प्रबोधन, पर्यावरण, स्वदेशी आचरण और नागरिक कर्तव्य शताब्दी वर्ष के निमित्त इन पांच सामजिक कार्यों पर विशेष बल है. शाखा की खुले स्थानों की संख्या में 9.5% की वृद्धि हुई है. हम 38,913 पर 2020 में थे. 3700 नए स्थान जुड़े हैं, मैं ये इसलिए बता रहा हूं, क्योंकि कोविड़ के कारण हम आंकड़ा ले नहीं पाए."