हिमाचल प्रदेश में बीती रात हुई भारी बारिश के बाद भूस्खलन की घटनाओं में 12 लोगों की मौत हो गई और कुछ मकानों के क्षतिग्रस्त होने के अलावा 400 से अधिक सड़कें अवरूद्ध हो गईं. अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी. मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों के दौरान राज्य के 12 में से छह जिलों में भारी भीषण बारिश और कुछ स्थानों पर अत्यधिक भीषणतम बारिश' होने का अनुमान जताते हुए बुधवार को ‘रेड अलर्ट' जारी किया.
इस मॉनसून में भारी बारिश के तीन बड़े दौरों के बाद राज्य में कुल 709 सड़कें बंद हो गईं हैं. भारी बारिश के कारण प्रदेश में बड़े पैमाने पर विनाश एवं मौत की घटनाएं हुयी हैं. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भारी बारिश के पूर्वानुमान को देखते हुए लोगों से सतर्क रहने की अपील की है. प्रदेश के शिमला, मंडी और सोलन जिलों में बुधवार से दो दिनों के लिए सभी स्कूल और कॉलेज बंद कर दिए गए हैं.
बारिश के कारण शिमला शहर बुरी तरह प्रभावित हुआ, भूस्खलन और उखड़े पेड़ों के कारण मुख्य कार्ट रोड और साथ ही शिमला-मेहली बाईपास कई स्थानों पर अवरुद्ध हो गया. कई घरों में दरारें भी आ गईं हैं और एहतियात के तौर पर लोगों को वहां से हटा दिया गया है. शिमला जिले के पुलिस अधीक्षक संजीव कुमार गांधी ने ‘पीटीआई-भाषा' को बताया कि बलदेयां इलाके में एक कच्चे मकान में झालो नामक प्रवासी और उनकी पत्नी राजकुमारी के शव मिले हैं. पुलिस अधीक्षक ने लोगों से अनावश्यक यात्रा नहीं करने का अनुरोध किया.
इस महीने राज्य में बारिश से संबंधित घटनाओं में 120 लोगों की मौत हो गई है, जबकि 24 जून को हिमाचल प्रदेश में मानसून की शुरुआत के बाद से कुल 238 लोगों की अब तक मौत हो चुकी है और 40 लोग अब भी लापता हैं. मौसम विभाग ने कांगड़ा, कुल्लू, मंडी, शिमला, सोलन और सिरमौर जिलों के कुछ हिस्सों के लिए दोपहर में ‘रेड अलर्ट' जारी की थी. विभाग ने बृहस्पतिवार के लिए भारी से बहुत भारी बारिश की नारंगी चेतावनी भी जारी की है. सोलन जिले में भूस्खलन से कुछ घर भी क्षतिग्रस्त हो गये.