उत्तराखंड के हल्द्वानी की एक दसवीं कक्षा में पढ़ने वाली लड़की बिना किसी को बताए, दिल्ली की ट्रेन में चढ़ गई. ट्रेन में ही उसके कुछ दोस्त बने और ये सब दिल्ली के एक होटल में पहुंच गए. दिल्ली के होटल में लड़की के साथ पांचों आदमियों ने बलात्कार किया. पुलिस ने इन सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. ये सामूहिक बलात्कार का मामला कई सवाल खड़े कर रहा है. पहला तो ये कि आखिर, हल्द्वानी के स्कूल में पढ़ने वाली नाबालिग अकेले दिल्ली की ट्रेन में क्यों चढ़ गई? क्या ट्रेन में मिले आदमियों को लड़की पहले से जानती थी? बलात्कार होने के बाद लड़की ने दिल्ली में ही पुलिस से शिकायत दर्ज क्यों नहीं कराई?
हल्द्वानी में लड़की के पिता ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई कि उनकी 15 साल बेटी 4 अक्टूबर से लापता है. वह स्कूल गई थी, लेकिन वापस घर नहीं लौटी. पुलिस ने लड़की का फोन सर्विलांस पर लगाया, तो पहला चला कि लड़की हल्द्वानी से दिल्ली की ट्रेन में चढ़ी थी. इसके बाद फोन की लोकेशन के आधार पर पुलिस दिल्ली पहुंची और लड़की को वापस हल्द्वानी लेकर आई. इस दौरान लड़की ने पुलिस को कुछ नहीं बताया. लड़की ने नहीं बताया कि आखिर, क्यों वह 4 अक्टूबर को घर नहीं आई और ट्रेन पकड़कर दिल्ली पहुंच गई?
हल्द्वानी पहुंचकर जब लड़की की काउंसलिंग की गई, तो पता चला कि दिल्ली के उसके साथ पांच लोगों ने सामूहिक बलात्कार किया था. इसके बाद पुलिस हरकत में आई और दिल्ली में उस होटल में पहुंची, जहां लड़की, उन लोगों के साथ ठहरी हुई थी. लड़की की निशानदेही पर पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया, जिनमें 3 महाराष्ट्र से हैं. इनमें संदेश चिपलाकर (25), रोशन पाटिल (29), योगेश नाइक (34) रायगढ़, महाराष्ट्र से और आशीष अगरकर (30) व साहिल कुमार (24) दिल्ली से हैं.
पुलिस ने लड़की का मेडिकल चेकअप कराया, जिसमें यौन उत्पीड़न की पुष्टि हो गई है. इसके बाद आरोपियों पर बीएनएस की धारा-70 (सामूहिक बलात्कार) के तहत मामला दर्ज किया गया है. इस मामले में आरोपियों के बयान अभी तक सामने नहीं आए हैं. इस सामूहिक बलात्कार के मामले की कई कड़ियाँ अभी तक जुड़ती नजर नहीं आ रही हैं. पुलिस अभी कई सवालों के जवाब तलाशने में जुटी हुई है.