Gen-Z से लेकर अल्फा और बीटा तक, जानें कैसे और कौन रखता है जनरेशन के ये नाम

Generations Name Process: आपने अलग-अलग जनरेशन के नाम जरूर सुने होंगे, लेकिन क्या कभी सोचा है कि ये नाम कैसे रखे जाते हैं. फिलहाल 2025 में बीटा जनरेशन पैदा हो चुकी है.

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कैसे रखे जाते हैं जनरेशन के नाम
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  • जनरेशन के नाम उस दौर की सामाजिक और आर्थिक परिस्थितियों के आधार पर तय किया जाता है
  • 1981 से 1996 के बीच जन्मे लोगों को मिलेनियल्स और 1997 से 2012 तक जन्मे लोगों को Gen-Z कहा जाता है
  • 2013 से 2024 के बीच जन्मे बच्चों को जनरेशन अल्फा कहा जाता है, वहीं अब बीटा जनरेशन भी पैदा हो चुकी है
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कुछ साल पहले आपको ये पता नहीं रहा होगा कि आप कौन सी जनरेशन में पैदा हुए हैं, लेकिन आज हर किसी की जुबान पर अलग-अलग जनरेशन के नाम होते हैं. कोई किसी को मिलेनियल कहता है तो कोई Gen-Z की हरकतों से परेशान है. वहीं अब तो अल्फा से लेकर बीटा जनरेशन भी आ चुकी है, जिनकी चर्चा Gen-Z की तरह अगले कुछ सालों में जरूर होगी. अब आपने कभी न कभी ये जरूर सोचा होगा कि अलग-अलग जनरेशन के ये नाम कहां से आए और इन्हें कैसे रखा जाता है. आइए हम आपको इसका जवाब देते हैं. 

खास उम्र के लोगों के लिए शब्द

आज अगर किसी भी उम्र के लोगों की बात करनी हो तो उनके लिए किशोर, युवा या फिर बुजुर्ग शब्दों का इस्तेमाल कम होता है, बल्कि लोग उनकी जनरेशन यानी पीढ़ी के नाम से उन्हें जानते हैं. जैसे अगर पुराने जमाने की बात हो रही हो तो साइलेंट जनरेशन या बेबी बूमर्स का नाम सामने आता हैय 

  • 1981 से 1996 के बीच पैदा हुए लोगों के लिए मिलेनियल्स शब्द का इस्तेमाल होता है. 
  • इसी तरह इसके बाद यानी 1997 से 2012 तक पैदा होने वालों को Gen-Z कहा जाता है. 
  • 2013 से 2024 के बीच पैदा होने वाले बच्चों को जनरेशन अल्फा कहा जाता है. ये वो बच्चे हैं, जिन्हें हर टेक्नोलॉजी पैदा होते ही मिल गई. 
  • अब 2025 में जो बच्चे पैदा हुए हैं उन्हें बीटा जनरेशन में रखा गया है. 2039 तक पैदा होने वाले लोग इसी जनरेशन का हिस्सा होंगे. 

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कैसे रखे जाते हैं जनरेशन के नाम?

अब उस सवाल पर आते हैं कि आखिर ये नाम कैसे रखे जाते हैं. दरअसल उस दौर के हालात और स्थिति को देखते हुए पीढ़ी का नामकरण किया जाता है. जैसे जो लोग वर्ल्ड वॉर के दौरान पैदा हुए और जिन्होंने संघर्ष देखा उन्हें ग्रेटेस्ट जनरेशन (1901-1927) कहा गया. वहीं युद्ध की मार, बेरोजगारी और डिप्रेशन जैसी चीजें देखने वाली जनरेशन को साइलेंट जनरेशन (1928-1945)  कहा गया. ठीक इसी तरह जिस दौर में सबसे ज्यादा बच्चे पैदा हुए उसे बेबी बूमर जनरेशन (1946-1964) कहा गया. तकनीक के दौर में पहला कदम रखने वाले लोगों को जनरेशन X (1965-1980) के नाम से जाना गया. ये नाम ‘क्लास: अ गाइड थ्रू द अमेरिकन स्टेटस सिस्टम' नाम की किताब से लिया गया था. 

कौन रखता है नाम?

द हिंदू की एक रिपोर्ट के मुताबिक 20वीं सदी में ही जनरेशन के नाम रखने की शुरुआत हो चुकी थी. ये नाम ज्यादातर किताबों या फिर किसी मशहूर गाने से लिए गए. समाजशास्त्री और डेमोग्राफी एक्सपर्ट्स इन्हें तय करते हैं. इसी तरह आगे भी आने वाली पीढ़ियों के नाम तय किए जाएंगे. 

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