कोविड-19 महामारी (Covid-19 Epidemic) के कारण घाटे से परेशान दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (DMRC) ने केन्द्र से अपील की है कि वह सुरक्षा नियमों में संशोधन कर राजस्व कमी की पूर्ति करने के लिए उसे पूर्ण क्षमता से ट्रेनों के परिचालन करने की अनुमति दे. उल्लेखनीय है कि महामारी की वजह से करीब पांच महीने तक बंद रहने के बाद 12 सितंबर को सभी मार्गों पर सेवा शुरू की गई थी. इससे पहले सात सितंबर से येलो लाइन (Yellow Line) पर सीमित ट्रेनों का परिचालन प्रायोगिक तौर पर सुरक्षा निर्देशों के सख्त अनुपालन के साथ किया गया था. मेट्रो के मुताबिक, 22 मार्च को लागू लॉकडाउन (Lockdown) के बाद 169 दिनों तक सेवा बंद रहने से उसकी वित्तीय स्थिति पर बुरा असर पड़ा है और सेवा बहाल करने के बाद भी यात्रियों की संख्या सीमित होने से वित्तीय स्थिति और प्रभावित हुई है.
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सूत्रों ने शुक्रवार को बताया कि दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (DMRC) ने कोविड-19 सुरक्षा प्रोटोकॉल (COVID-19 Safety Protocols) में संशोधन करने एवं पूरी सीट क्षमता से ट्रेनों का परिचालन करने के लिए केन्द्र को पत्र लिखा है ताकि राजस्व बढ़ाया जा सके. उन्होंने बताया कि पत्र में शहरी आवास एवं विकास मंत्रालय द्वारा पिछले साल अक्टूबर में बसों को पूरी सीट क्षमता के साथ चलाने की अनुमति का भी हवाला दिया गया है. सूत्रों ने बताया कि इसके अलावा डीएमआरसी (DMRC) पहले ही केन्द्र, दिल्ली, उत्तर प्रदेश एवं हरियाणा सरकार से परिचालन के लिए 1,648.4 करोड़ रुपये की सहायता मांग चुका है. उल्लेखनीय है कि सितंबर में डीएमआरसी (DMRC) की सेवा बहाल होने के बाद कोविड-19 सुरक्षा प्रोटोकॉल (COVID-19 Safety Protocols) के तहत यात्रियों को एक सीट छोड़कर बैठने का निर्देश है जिससे कोच में यात्रा की क्षमता और कम हो गई है. इसकी वजह से कम संख्या में यात्री मेट्रो में यात्रा कर पा रहे हैं और मेट्रो स्टेशनों पर लंबी कतार लग रही है.
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