मध्य प्रदेश में खरगोन जिले के दो गांवों में महाशिवरात्रि पर दलित महिलाओं को पूजा करने से रोका, केस दर्ज

दोनों मामलों में पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है और मामले की जांच जारी है. सनावद और कसरावद गांवों में अलग-अलग मामले हुए और दोनों मामलों में कार्रवाई हुई है.

विज्ञापन
Read Time: 10 mins
मध्य प्रदेश में खरगोन जिले के दो गांवों में महाशिवरात्रि पर दलित महिलाओं को पूजा करने से रोका तो पुलिस ने केस दर्ज किया है. (फाइल फोटो)
भोपाल:

मध्य प्रदेश में खरगोन जिले के सनावद और कसरावद में महाशिवरात्रि के दिन गांव के रसूखदारों ने कथित तौर पर दलित समाज की महिलाओं को शिव मंदिर में पूजा करने से रोक दिया. सनावद में हुई घटना में दोनों पक्षों में जमकर पत्थरबाजी हुई, जिसमें 14 लोग घायल हो गए. दरअसल, सनावद तहसील के छपरा गांव में 5 दिनों से मंदिर के पास बरगद के पेड़ को काटने को लेकर गुर्जर समाज के लोगों ने दलित समुदाय के 6 लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी, जिससे गांव में तनाव पसरा था. महाशिवरात्रि के दिन जब दलित समुदाय की लड़कियां पूजा करने आईं तो कथित तौर पर गुर्जर समाज के भैयालाल पटेल और अन्य लोगों ने उन्हें रोका. इस बीच दलित समाज के कुछ युवक वहां पर आ गए. इसी बात को लेकर दोनों पक्षों में एक दूसरे पर पथराव हुआ. पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है.

वहीं, दूसरे मामले में खरगोन जिला मुख्यालय से करीब 40 किलोमीटर दूर कसरावद थाने के छोटी कसरावद गांव में बलाई समाज का आरोप है कि गांव की रसूखदार महिलाओं ने उनके साथ मारपीट की और उन्हें जातिसूचक गालियां दी गईं.
शिकायतकर्ता मंजूबाई ने अपनी शिकायत में बताया कि महाशिवरात्रि पर्व पर गणेश जी की पूजा के बाद वो शिव जी को जल चढ़ाने गईं थीं. वहां भीड़भाड़ अधिक थी. जल चढ़ाने को लेकर थोड़ी धक्का-मुक्की हो गई. इसी बात पर रीना बाई राजपूत, साणी बाई राजपूत, भुरी प्रजापति, लक्ष्मी प्रजापति ने उन्हें धक्का दिया और उनके साथ मारपीट की. पुलिस ने एफआईआर में 5 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है.

यह भी पढ़ें-
सेल्फी विवाद : सपना गिल ने कोर्ट से कहा, "पृथ्वी शॉ कौन है, यह भी नहीं पता था..."
ईसी का फैसला स्वीकार करें, चिह्न बदलने से कोई फर्क नहीं पड़ेगा : शरद पवार की उद्धव को सलाह

Advertisement

Featured Video Of The Day
Russia Ukraine War News: रूस का यूक्रेन पर करारा प्रहार! पहली बार दागी ICBM