कनाडा में खालिस्तान (Canada Khalistani Terrorism) के नाम पर टेरर कंपनी (Terror Company) चल रही है. ड्रग्स और हथियार की तस्करी, वसूली, हत्या जैसे अपराध से इकट्ठा किये जा रहे फंड का इस्तेमाल भारत विरोधी हरकतों में किया जा रहा है. कनाडा में बैठे खालिस्तानी आतंकियों (Khalistani Terrorist) और गैंगस्टर्स के लिंक्स को लेकर राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की चार्जशीट में कई अहम खुलासे हुए हैं. कोर्ट में दाखिल एनआईए की चार्जशीट के मुताबिक, अर्शदीप उर्फ अर्श डल्ला (Arshdeep Singh Gill or Arsh Dalla)और जून में मारे गए हरदीप सिंह निज्जर (Hardeep Singh Nijjar) दोनों मिलकर‘टेरर कंपनी' चला रहे थे. निज्जर खालिस्तानी टाइगर फोर्स (KTF) का चीफ था, जिसकी हत्या लेकर कनाडा और भारत के रिश्ते तनावपूर्ण बने हुए हैं. जानकारी मिली है कि भारत अब निज्जर के खालिस्तानी आतंकी होने के सबूत देखेगा.
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की चार्जशीट के मुताबिक, अर्शदीप उर्फ अर्श ढल्ला कनाडा में रहकर टारगेट किलिंग, एक्सटॉर्शन, टेरर फंडिंग, हत्या की कोशिश, अलग-अलग समुदायों में नफरत और पंजाब के लोगों में दहशत फैलाने का काम कर रहा है. सिर्फ इतना ही नहीं, बल्कि अर्शदीप निज्जर के साथ मिलकर टेरर फाइनेंसिंग, बॉर्डर पार से ड्रग्स और हथियारों की स्मगलिंग भी करता रहा है. वहीं, खालिस्तानियों के निशाने पर पंजाबी फिल्म प्रोड्यूसर और डायरेक्टर रहे हैं. पंजाब के क्लब मालिकों से भी रंगदारी वसूली जाती थी. हवाला के जरिए ये रकम कनाडा पहुंचाया जाता था.
टारगेट किलिंग के लिए भर्ती किए 700 शूटर्स
चार्जशीट में लिखा है, "ग्लोबल आतंकी हरदीप सिंह निज्जर और अर्श डल्ला ने टेररिस्ट गैंग भी बनाया था. लवप्रीत सिंह उर्फ रवि, राम सिंह उर्फ सोना, गगनदीप सिंह उर्फ गग्गा और कमलजीत शर्मा उर्फ कमल को कनाडा का वीजा दिलाकर पहले वहां नौकरी देने का लालच दिया और फिर सभी को पंजाब में दहशत फैलाने का टास्क दिया. टारगेट किलिंग के लिए दोनों ने 700 शूटर्स भर्ती किए. "
आतंक फैलाने के लिए करते थे MTSS चैनल का इस्तेमाल
एनआईए ने अपनी चार्जशीट में यह भी खुलासा किया है कि डल्ला निज्जर के साथ मिलकर अपने गैंग के लोगों को टारगेट की डिटेल्स भेजते थे और उनको हथियार मुहैया कराते थे. बताया जा रहा है कि ये लोग आतंक फैलाने के लिए MTSS चैनल के जरिए शूटर्स को अलग-अलग फंड्स भी मुहैया कराते थे. जिसके बाद एक्सटॉर्शन का पैसा हवाला और अर्शदीप के जरिए कनाडा पहुंचता था.
भारत सरकार ने अर्शदीप उर्फ अर्श डल्ला को घोषित किया आतंकी
भारत सरकार ने गजट नोटिफिकेशन S.O. 105 (E) निकाल कर कनाडा में बैठे हुए अर्शदीप उर्फ अर्श डल्ला को खालिस्तान टाइगर फोर्स का आतंकी घोषित किया था. नोटिफिकेशन में सरकार ने बताया था कि ढल्ला कनाडा में रहकर टारगेट किलिंग, एक्सटॉर्शन, टेरर फंडिंग, हत्या की कोशिश, अलग-अलग समुदायों में नफ़रत फैलाने और पंजाब के लोगों में दहशत फैलाने में लगा हुआ है. ढल्ला अन्य घोषित आतंकी निज्जर का बेहद करीबी था.
टारगेट किलिंग के मामले में डल्ला का कोई सानी नहीं
जांच एजेंसी की तफ्तीश का खुलासा है कि टारगेट किलिंग के मामले में अर्शदीप डल्ला का कोई सानी नहीं. इसके अलावा उसने खालिस्तान टाइगर फोर्स और इंटरनेशनल सिख यूथ फेडरेशन जैसे आतंकी संगठनों के साथ मिलकर कई मॉड्यूल तैयार किए हैं, जिन्हें चलाने और उसकी साज़िशों को अंजाम तक पहुंचाने के लिए अर्श डल्ला ने अपने चुने हुए गुर्गों को रखा है.
डल्ला पर 5 लाख रुपये का इनाम
राष्ट्रीय जांच एजेंसी यानी NIA ने अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डल्ला के साथ साथ चंडीगढ़ के गैंग्स्टर गौरव पटियाल उर्फ सौरव ठाकुर उर्फ लक्की को पहले ही भगोड़ा घोषित कर दिया है. NIA की भगोड़ों की उस लिस्ट में पंजाब के 3 और हरियाणा के 4 गैंगस्टर हैं, जिन्हें अब केंद्रीय जांच एजेंसी आतंकी मानकर चल रही है. एनआईए ने उसके ऊपर 5 लाख का इनाम रखा है. गौरव पटियाल भी पांच लाख का इनामी बदमाश है बाकि उस लिस्ट में सभी एक-एक लाख के इनामी गुंडे बताए जा रहे हैं.
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