जो (Zoe) प्रोजेक्ट के हिस्से के रूप में एकत्र किए गए आंकड़ों के अनुसार, सिरदर्द, गले में खराश और नाक बहना इस वेरिएंट के सबसे आम लक्षण हैं. अध्ययन का नेतृत्व किंग्स कॉलेज लंदन में आनुवंशिक महामारी विज्ञान के प्रोफेसर टिम स्पेक्टर कर रहे हैं. एक्सपर्ट्स का मानना है कि लक्षणों में बदलाव के पीछे कोविड-19 संक्रमण का डेल्टा वेरिएंट हो सकता है क्योंकि यूके में अधिक लोग ठंड जैसे लक्षणों की रिपोर्ट कर रहे हैं. महामारी की शुरुआत में शुरू हुई ZOE परियोजना लोगों के लक्षणों पर नज़र रख रही है और विशेषज्ञों का मानना है कि वायरस 'अब अलग तरह से काम कर रहा है.
हालांकि, प्रोफेसर स्पेक्टर का कहना है कि इस तरह के लक्षण अब लोगों में काफी कम दिखाई देने लगे हैं. Zoe टीम को मिले डेटा के अनुसार, हजारों लोगों ने अपने अंदर महसूस हो रहे लक्षणों को एप के माध्यम से रजिस्टर किया है. उन्होंने बताया कि मई की शुरुआत में हम एप पर सबसे ज्यादा सामने आ रहे लक्षणों को किया था और ये पहले जैसे बिल्कुल नहीं हैं.
उन्होंने कहा कि" कोविड अब अलग तरह से काम कर रहा है, यह एक खराब सर्दी की तरह है." लोग सोच सकते हैं कि उन्हें अभी-अभी मौसमी सर्दी हुई है, और वे अभी भी पार्टियों में जाते हैं… इसलिए, यह जानना वास्तव में महत्वपूर्ण है कि मई की शुरुआत से, हम सभी ऐप उपयोगकर्ताओं में शीर्ष लक्षणों को देख रहे हैं, और वे पहले जैसे नहीं हैं. तो, नंबर एक लक्षण सिरदर्द है. इसके बाद गले में खराश, नाक बहना और बुखार है. एनएचएस ने अभी भी बुखार, लगातार खांसी और स्वाद और गंध के नुकसान के रूप में वायरस के तीन बताए गए संकेतों को सूचीबद्ध किया है.
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