कमाल का है कालमेघ, इन बीमारियों से है बचाता, स्किन प्रॉब्लम्स को भी करे दूर, जान लीजिए कैसे करें इस्तेमाल

Kalmegh Plant Benefits: कालमेघ पौधा कई गुणों से भरपूर है, जैसे ज्वरनाशक (बुखार कम करने), पाचन तंत्र के लिए लाभकारी.

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Kalmegh health benefits in hindi: कालमेघ एक ऐसी जड़ी-बूटी है जो अपने कड़वे स्वाद के लिए जानी जाती है, लेकिन इसके बहुत सारे हेल्थ बेनिफिट्स भी हैं. यह एक मौसमी पौधा है. कालमेघ का उपयोग आयुर्वेदिक और यूनानी चिकित्सा में कई शताब्दियों से किया जाता रहा है. कालमेघ के पत्ते और रस का उपयोग दवाइयां बनाने में होता है. इसका वैज्ञानिक नाम एंड्रोग्राफिस पैनिकुलाटा है. यह पौधा भारत, श्रीलंका और दक्षिण-पूर्व एशिया में पाया जाता है. यह पौधा कई गुणों से भरपूर है, जैसे ज्वरनाशक (बुखार कम करने वाला), पाचन तंत्र के लिए लाभकारी, लिवर के लिए लाभकारी, कैंसर विरोधी गुण, एंटीऑक्सीडेंट गुण.

कालमेघ का स्वास्थ्य लाभ (Health benefits of Kalmegh)

1. सर्दी खांसी में फायदेमंद-
कालमेघ के प्रयोग से गले में खराश, सर्दी और खांसी जैसी बीमारियों में फायदा मिलता है. यह गले में होने वाले संक्रमण से भी बचाता है.

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2. जोड़ों के दर्द में कारगर-
कालमेघ के सेवन से अर्थराइटिस जैसी बीमारियों को ठीक करने में मदद मिल सकती है.

3. फ्री रेडिकल-
कालमेघ में एंटीऑक्सीडेंट जैसे गुण मौजूद होते हैं, जो शरीर को फ्री रेडिकल से बचाने में मदद कर सकते हैं.

4. सूजन को कम करने में सहायक-
कालमेघ सूजन और दर्द को कम करने में मदद कर सकता है.

5. पाचन तंत्र में सहायक-
यह पौधा डाइजेशन से संबंधित समस्याओं को दूर करने में सहायता करता है, साथ ही भूख को बढ़ाता है.

6. स्किन के लिए फायदेमंद
कालमेघ में एंटीबैक्टीरियल, एंटीऑक्सीडेंट और एंटी माइक्रोबियल जैसे गुण पाए जाते हैं, जो हमारे स्किन को स्वस्थ रखने में हेल्पफुल हैं. इसका कालमेघ का उपयोग कई बीमारियों के इलाज में किया जाता है. हालांकि, कालमेघ का सेवन करने से पहले डॉक्टर की सलाह लेना जरूरी है, क्योंकि इसके दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं.

कालमेघ का इस्तेमाल कैसे करें (How to use Kalmegh)

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1. चाय: कालमेघ के पत्तों को पानी में उबालकर चाय बनाई जा सकती है.
2. काढ़ा: कालमेघ के पत्तों और जड़ को पानी में उबालकर काढ़ा बनाया जा सकता है.
3. टिंचर: कालमेघ के पत्तों और जड़ को शराब में भिगोकर टिंचर बनाई जा सकती है.
4. कैप्सूल: कालमेघ के पाउडर को कैप्सूल में भरकर लिया जा सकता है.
5. पाउडर: कालमेघ के पत्तों और जड़ को सुखाकर पाउडर बनाया जा सकता है, जिसे पानी या दूध के साथ लिया जा सकता है. 

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कालमेघ का सेवन करने से पहले इन बातों का ध्यान रखना जरूरी है-

- कालमेघ का सेवन करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह लें.
- कालमेघ का सेवन करने से पहले अपनी स्वास्थ्य स्थिति की जांच कराएं.
- कालमेघ का सेवन करने से पहले अपनी दवाओं की जांच कराएं.
- कालमेघ का सेवन करने से पहले अपने खाने की आदतों की जांच कराएं.

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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