क्या गॉलब्लैडर हटाने से लिवर पर दबाव बढ़ जाता है? डॉक्टर सरीन ने बताया गॉलब्लैडर में पथरी होने पर क्या करें

डॉ. सरीन बताते हैं कि गॉलब्लैडर और लिवर दोनों एक-दूसरे से जुड़े हैं. लिवर हर समय बाइल (पित्त रस) बनाता रहता है और गॉलब्लैडर का काम होता है इसे जमा करके, भोजन के दौरान छोटी आंत में भेजना. यानी गॉलब्लैडर एक तरह का स्टोरेज टैंक है.

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लिवर हर समय बाइल (पित्त रस) बनाता रहता है और गॉलब्लैडर का काम होता है इसे जमा करना.

गॉलब्लैडर (Gallbladder) यानी पित्ताशय शरीर का एक छोटा सा अंग है, जो लिवर (Liver) के ठीक नीचे होता है. यह अंग बाइल (पित्त रस) को स्टोर करता है, जो भोजन के पाचन में मदद करता है, खासकर फैट (वसा) के पाचन में. लेकिन, जब इसमें पथरी (Stone) बन जाती है या सूजन हो जाती है, तो डॉक्टर इसे हटाने की सलाह देते हैं. कई लोग इस सर्जरी के बाद यह चिंता करते हैं कि कहीं लिवर पर एक्स्ट्रा दबाव तो नहीं पड़ रहा? इस बारे में डॉ. एस. के. सरीन ने एनडीटीवी से बातचीत में विस्तार से जानकारी दी.

गॉलब्लैडर और लिवर का कनेक्शन क्या है?

डॉ. सरीन बताते हैं कि गॉलब्लैडर और लिवर दोनों एक-दूसरे से जुड़े हैं. लिवर हर समय बाइल (पित्त रस) बनाता रहता है और गॉलब्लैडर का काम होता है इसे जमा करके, भोजन के दौरान छोटी आंत में भेजना. यानी गॉलब्लैडर एक तरह का स्टोरेज टैंक है.

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गॉलब्लैडर हटाने से क्या होता है?

जब गॉलब्लैडर हटा दिया जाता है (जिसे 'कोलेसिस्टेक्टॉमी' कहते हैं), तो लिवर वैसे ही बाइल बनाता रहता है, लेकिन अब बाइल सीधा छोटी आंत में टपकता रहता है. यानी पित्त का स्टोरेज अब नहीं होता, बस निरंतर बहाव बना रहता है.

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डॉक्टर सरीन की राय

गॉलब्लैडर हटाने से लिवर पर कोई एक्सट्रा दबाव नहीं पड़ता. शरीर इसके बिना भी सामान्य रूप से काम कर सकता है. कुछ लोगों को शुरू में थोड़ी बहुत डाइजेशन से जुड़ी समस्या हो सकती है, जैसे ढीला पेट या ऑली चीजें पचाने में मुश्किल, लेकिन कुछ हफ्तों में शरीर खुद को एडजस्ट कर लेता है.

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गॉलब्लैडर की पथरी क्यों होती है?

डॉ. सरीन बताते हैं कि गॉलब्लैडर में पथरी बनने के पीछे कई कारण हो सकते हैं, जैसे:

  • ज्यादा फैट वाली डाइट
  • तेजी से वजन बढ़ना या घटना
  • गर्भावस्था
  • जेनेटिक कारण

पथरी बनने पर यह गॉलब्लैडर में ब्लॉकेज या सूजन पैदा कर सकती है, जिससे तेज दर्द, उल्टी, और बुखार जैसे लक्षण हो सकते हैं.

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गॉलब्लैडर की पथरी का इलाज क्या है?

1. दवा से इलाज

अगर पथरी छोटी है और कोई लक्षण नहीं दे रही, तो दवा से उसे घुलाने की कोशिश की जा सकती है, लेकिन यह तरीका बहुत धीरे काम करता है और सफल होने की गारंटी नहीं होती.

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2. सर्जरी (कोलेसिस्टेक्टॉमी)

जब पथरी बार-बार समस्या दे रही हो, तो गॉलब्लैडर को हटाना सबसे असरदार इलाज होता है. आजकल यह लेप्रोस्कोपिक सर्जरी के जरिए बहुत आसान और सुरक्षित प्रक्रिया मानी जाती है.

क्या गॉलब्लैडर के बिना जीवन सामान्य रहता है?

हां, गॉलब्लैडर के बिना भी व्यक्ति एकदम सामान्य जीवन जी सकता है. डॉक्टर सरीन के अनुसार, अगर पथरी तकलीफ दे रही हो, तो गॉलब्लैडर को निकाल देना ही समझदारी है. यह लाइफ क्वालिटी को सुधारता है.

गॉलब्लैडर हटाने से लिवर पर कोई नकारात्मक प्रभाव नहीं पड़ता. यह एक सुरक्षित प्रक्रिया है और शरीर खुद को बिना गॉलब्लैडर के ढाल लेता है, लेकिन याद रखें कि आपका गॉलब्लैडर नहीं है और आपको आगे कुछ दिक्कतें हो सकती हैं. जरूरी है कि आप सर्जरी के बाद हल्का-फुल्का और संतुलित आहार लें, ताकि पाचन तंत्र को आराम से ढलने का मौका मिले.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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