हरियाणा के खेल मंत्री संदीप सिंह पर महिला कोच के साथ छेड़छाड़ के आरोपों के बीच अब खाप पंचायतें भी उनके खिलाफ एकजुट हो गई हैं. सोमवार को झज्जर के गांव डाबला में धनखड़-12 खाप के चबूतरे पर पंचायत हुई. खाप पंचायतों ने हरियाणा सरकार से खेल मंत्री को तुरंत पद से बर्खास्त कर उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की. खाप ने इसके साथ ही सरकार को शनिवार तक का अल्टीमेटम भी दिया है. चेतावनी दी कि अगर अल्टीमेटम की समयावधि में कार्रवाई नहीं हुई तो फिर बड़ा आंदोलन किया जाएगा.
संदीप सिंह ने रविवार को अपना खेल विभाग यह कहते हुए छोड़ दिया था कि उन्होंने नैतिक आधार पर यह कदम उठाया है और दावा किया कि उनके खिलाफ आरोप निराधार हैं. भारत के पूर्व हॉकी कप्तान ने कहा कि उन्होंने खेल विभाग का प्रभार मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को सौंप दिया है. हालांकि, उन्होंने भाजपा के नेतृत्व वाले हरियाणा मंत्रिमंडल से इस्तीफा नहीं दिया है.
जिले के एक गांव में “12 धनखड़ खाप” की एक पंचायत आयोजित की गई और इसमें ‘खाप' और सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया. खाप के एक प्रतिनिधि के अनुसार, बैठक में राज्य सरकार से कोच के लिए जल्द से जल्द न्याय सुनिश्चित करने और मंत्री को बर्खास्त करने का आग्रह किया गया. उन्होंने कहा कि अगर सरकार ऐसा करने में विफल रहती है, तो खाप एक “बड़ा आंदोलन” शुरू करेगी.
उन्होंने कहा कि बैठक में मांग की गई कि सिंह को मुख्यमंत्री द्वारा तुरंत बर्खास्त किया जाना चाहिए, क्योंकि अगर वह सरकार में मंत्री बने रहते हैं तो वह जांच को ‘प्रभावित' कर सकते हैं. कुछ खाप सदस्यों ने यह भी महसूस किया कि हरियाणा पुलिस महानिदेशक के आदेश पर गठित एक समिति का कोई उद्देश्य नहीं होगा, क्योंकि चंडीगढ़ पुलिस पहले से ही मामले की जांच कर रही है.
इस बीच, इंडियन नेशनल लोक दल के नेता और विधायक अभय सिंह चौटाला ने कहा कि हरियाणा समिति “केवल मंत्री को बचाने का एक प्रयास है”. उन्होंने पूछा, “जब चंडीगढ़ पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज की है और मामले की जांच कर रही है, तो यह हरियाणा समिति किस उद्देश्य से स्थापित की गई है?”
पूर्व ओलंपियन और कुरुक्षेत्र के पिहोवा से पहली बार विधायक बने संदीप सिंह के पास प्रिंटिंग और स्टेशनरी विभाग भी है. जूनियर एथलेटिक्स कोच ने मंत्री पर गलत तरीके से छूने और यहां तक कि उनकी टी-शर्ट तक फाड़ने का आरोप लगाया है. चंडीगढ़ पुलिस ने मंत्री पर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है.
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