Masik Shivaratri 2021: अश्विन मास में इस दिन मनाई जाएगी मासिक शिवरात्रि, जानें तिथि और पूजा विधि

Masik Shivaratri: हिंदू धर्म में शिवरात्रि का विशेष महत्व है. मासिक शिवरात्रि भी भोलेशंकर को समर्पित होती है. हर मास की शिवरात्रि (Shivaratri) को मासिक शिवरात्रि (Masik Shivratri) के नाम से जाना जाता है.

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नई दिल्ली:

Ashwin Month Masik Shivratri 2021: हिंदू पंचांग के अनुसार प्रत्येक माह में कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मासिक शिवरात्रि आती है. इस तरह से पूरे वर्ष भर में 12 शिवरात्रि व्रत पड़ते हैं. सनातन धर्म (Sanatan Dharma) के अनुसार, हर महीने के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को शिवरात्रि (Shivratri) मनाई जाती है. हिंदू धर्म में शिवरात्रि का विशेष महत्व है. मासिक शिवरात्रि भी भोलेशंकर को समर्पित होती है. हर मास की शिवरात्रि (Shivaratri) को मासिक शिवरात्रि (Masik Shivratri) के नाम से जाना जाता है. महाशिवरात्रि के अलावा हिंदू धर्म में मासिक शिवरात्रि का भी काफी महत्व है. इस बार अश्विन मास की शिवरात्रि का व्रत 4 अक्टूबर 2021 दिन सोमवार को किया जाएगा. सोमवार का दिन होने के चलते इसका महत्व और ज्यादा बढ़ गया है, क्योंकि सोमवार का दिन भी भगवान शिव को समर्पित किया जाता है. इस दिन भगवान भोलेनाथ का सच्चे मन से व्रत पूजन किया जाता है. आइए जानते हैं मासिक शिवरात्रि का महत्व, शुभ मुहूर्त और पूजन विधि.

मासिक शिवरात्रि का महत्व (Significance Of Monthly Shivratri)

हिंदू धर्म में मासिक शिवरात्रि का विशेष महत्व है. इस दिन भगवान भोलेनाथ शिवशम्भू की विशेष पूजा आराधना की जाती है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार मासिक शिवरात्रि के दिन व्रत रखने और पूजा करने से भोलेनाथ सभी मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं. इस समय भगवान शिव की पूजा विशेष फलदाई मानी जाती है.

Masik Shivaratri 2021 Image:  जानिये मासिक शिवरात्रि की पूजा विधि

अश्विन मास शिवरात्रि  मुहूर्त (Ashwin Month Shivratri Muhurat)

  • अश्विन मास कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि आरंभ- 04 अक्टूबर दिन सोमवार को रात 09:05 से.
  • अश्विन मास कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि समाप्त- 05 अक्टूबर दिन मंगलवार को रात 07:04 पर.

मासिक शिवरात्रि पूजन विधि (Masik Shivratri Pujan Vidhi)

  • चतुर्दशी तिथि को सुबह जल्दी उठकर स्नानादि करें.
  • भगवान का स्मरण कर पूजन करें.
  • भोलेनाथ के समक्ष पूजा स्थान में दीप प्रज्वलित करें.
  • अगर आपके घर में शिवलिंग है तो दूध, और गंगा जल आदि से अभिषेक अवश्य करें.
  • अब शिवलिंग पर बेलपत्र, धतूरा आदि अर्पित करें.
  • भगवान शिव के साथ माता पार्वती की भी पूजा करें.
  • पूजा के समय नम: शिवाय मंत्र का उच्चारण करें.
  • भगवान शिव को भोग लगाएं और आरती करें.
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