चंद्र ग्रहण और शरद पूर्णिमा को लेकर हैं कंफ्यूज, यहां जानें कि कब रखना है पूर्णिमा वाले खीर को बाहर 

Sharad Purnima: इस साल शरद पूर्णिमा के दिन ही चंद्र ग्रहण भी लग रहा है. ऐसे में पूर्णिमा वाली खीर कब बाहर रखनी है, आइए जानते हैं. 

विज्ञापन
Read Time: 20 mins
Sharad Purnima Kheer Timing: शरद पूर्णिमा की खीर को इस समय बाहर रखना होगा शुभ

Sharad Purnima kheer: हिन्दू कैलेंडर के अनुसार हर महीने में एक पूर्णिमा और एक अमावस्या तिथि होती है. हिन्दू धर्म में पूर्णिमा तिथि को विशेष महत्‍व दिया गया है. हर साल अश्विन मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को शरद पूर्णिमा के रूप में मनाया जाता है. इसे रास पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है. मान्यताओं के अनुसार पूरे साल में सिर्फ इस दिन चन्द्रमाँ सोलह कलाओं से परिपूर्ण होता है. इस दिन खीर बनाने, उसे खुले में चाँद के नीचे रखने और फिर उसे खाने का महत्व है. लेकिन इस साल शरद पूर्णिमा के दिन चांद पर ग्रहण लगने वाला है. ऐसे में आपको कब खीर बनाना चाहिए और कब बाहर रखना चाहिए, आइए जानते हैं. 

शरद पूर्णिमा 2023 तिथि 

इस साल अश्विन मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि 28 अक्टूबर 2023 को है. पूर्णिमा तिथि की शुरुआत 28 अक्टूबर, शनिवार को सुबह 4:17 बजे होगी और 29 अक्टूबर, रविवार को दोपहर 1:53 बजे समाप्त होगी. इस दिन कुछ खास योग जैसे, गजकेसरी योग, बुधादित्य योग, शश योग और सिद्धि योग का निर्माण होने वाला है. ये दिन आपके लिए शुभ हो सकता है. 

कब रखें शरद पूर्णिमा वाली खीर को बाहर? 

इस साल शरद पूर्णिमा के दिन, यानी 28 अक्टूबर 2023 को साल का आखिरी चंद्र ग्रहण लगने वाला है. ऐसे में चाँद सकारात्मक ना होकर नकारात्मक ऊर्जा का स्रोत होगा. इस ग्रहण वाले चांद की रौशनी में खीर को बाहर रखना अशुभ हो सकता है और चांद की निगेटीव एनर्जी आपके अंदर संचारित हो सकती है. ऐसे में ज्योतिष की माने तो 27 अक्टूबर को ही रात 12 बजे से पहले खीर बना लें. फिर इसे 12 बजे के बाद दिन बदल जाने पर बाहर खुले आसमान के नीचे रखें. 28 की सुबह चंद्रास्त होने से पहले इस खीर को हटा लें. 

Advertisement

शरद पूर्णिमा के दिन खीर का महत्व और मान्यताएं 

शरद पूर्णिमा या रास पूर्णिमा के दिन खीर बनाने का, उसे रात के समय चांद की रौशनी में बाहर रखने का और फिर खाने का विशेष महत्व है. हिन्दू मान्यताओं के अनुसार इस दिन चांद धरती के सबसे करीब होता है और उसकी पॉजीटिव एनर्जी भी धरती के सबसे करीब होती है. ऐसे में माना जाता है कि खीर को बाहर रखने से ये पॉजीटिव एनर्जी खीर में आ जाती है और इसे खाने से हमारे अंदर. इस दिन चंद्रमा सभी 16 कलाओं से युक्त होता है. नवविवाहित औरतों के लिए व्रत करने की शुरुआत इसी दिन व्रत रखकर करना शुभ माना जाता है.

Advertisement

                                                                                                        (प्रस्तुति-अंकित श्वेताभ)

Advertisement

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

Featured Video Of The Day
Russia Ukraine War: रूस के निशाने पर अब NATO के ठिकाने, क्या है Vladimir Putin का अगला प्लैन?