Chaitra Navratri 2021: नवरात्रि के पहले दिन इस विधि से करें मां शैलपुत्री की पूजा, होंगे लाभ

Chaitra Navratri 2021: चेत्र नवरात्रि की 13 अप्रैल  2021 से शुरुआत हो गई है. नवरात्रि के पहले दिन मां दुर्गा के प्रथम रूप शैलपुत्री की पूरे विधि-विधान के साथ पूजा की जाती है.

विज्ञापन
Read Time: 10 mins
Chaitra Navratri 2021: नवरात्रि के पहले दिन इस विधि से करें मां शैलपुत्री की पूजा.
नई दिल्ली:

Chaitra Navratri 2021: चेत्र नवरात्रि की 13 अप्रैल  2021 से शुरुआत हो गई है. नवरात्रि के पहले दिन मां दुर्गा के प्रथम रूप शैलपुत्री की पूरे विधि-विधान के साथ पूजा की जाती है. नवरात्रि में शैलपुत्री पूजन का विशेष महत्‍व है. मान्‍यता है कि जो भक्‍त श्रद्धा भाव से मां की पूजा करते हैं उन्हें सुख और सिद्धि की प्राप्‍ति होती है. ऐसी भी मान्यता है कि  महिलाओं को खासतौर पर मां शैलपुत्री के पूजन से विशेष लाभ होता है. माना जाता है कि मां शैलपुत्री की पूजा करने से महिलाओं की पारिवारिक स्थिति, दांपत्य जीवन और बीमारियां दूर हो जाती हैं.

शैलपुत्री रूप की कहानी
मां दुर्गा पहले स्वरूप को 'शैलपुत्री' के नाम से जाना जाता है. इनके नाम को लेकर मान्यता है कि शैल का अर्थ होता है पर्वत. पर्वतों के राजा हिमालय के घर में पुत्री के रूप में यह जन्मी थीं, इसीलिए इन्हें शैलपुत्री कहा जाता है. मां शैलपुत्री को करुणा और ममता की देवी भी माना जाता है. शैलपुत्री प्रकृति की भी देवी हैं. शैलपुत्री माता के दाहिने हाथ में त्रिशूल और बाएं हाथ में कमल का फूल होता है.शैलपुत्री का वाहन वृषभ यानी कि बैल है.

इस विधि से करें मां शैलपुत्री की पूजा
- नवरात्रि के पहले दिन स्‍नान करने के बाद स्‍वच्‍छ वस्‍त्र धारण करें.
- पूजा के समय पीले रंग के वस्‍त्र पहनना शुभ माना जाता है. 
- शुभ मुहूर्त में कलश स्‍थापना करने के साथ व्रत का संकल्‍प लिया जाता है.
- कलश स्‍थापना के बाद मां शैलपुत्री का ध्‍यान करें. 
- मां शैलपुत्री को घी अर्पित करें. मान्‍यता है कि ऐसा करने से आरोग्‍य मिलता है. 
- नवरात्रि के पहले दिन शैलपुत्री का ध्‍यान मंत्र पढ़ने के बाद  स्तोत्र पाठ और कवच पढ़ना चाहिए. 
- शाम के समय मां शैलपुत्री की आरती कर प्रसाद बांटें. 
- इसके बाद अपना व्रत खोलें.

Advertisement
Featured Video Of The Day
UP Madrasa Act: यूपी के मदरसों के लिए क्‍यों है खुशी का मौका, जरा Supreme Court के फैसले को समझिए
Topics mentioned in this article