Guru Nanak Jayanti 2022: गुरु नानक जयंती आज, जानें महत्व और इतिहास

Guru Nanak Jayanti 2022 Date: गुरु नानक जयंती का पवित्र त्योहार आने वाला है. यह गुरु नानक देव जी की जयंती का प्रतीक है. आइए जानते हैं गुरु नानक जयंती की सही तिथि, महत्व और गुरुपर्व का इतिहास.

विज्ञापन
Read Time: 24 mins
Guru Nanak Jayanti 2022: गरु नानक देव के जन्मदिन पर गुरु पर्व मनाया जाता है.

Guru Nanak Jayanti 2022 Date, History and Significance: गुरु नानक जयंती का पवित्र त्योहार, जिसे गुरुपर्व, प्रकाश पर्व और गुरु नानक के प्रकाश उत्सव के रूप में भी जाना जाता है, 08 नवंबर 2022 को यानी आज है. गुरु पर्व सिख धर्म के सबसे महत्वपूर्ण दिनों में से एक है और दस सिख गुरुओं में से पहले और सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव जी की जयंती का प्रतीक है. गुरु नानक जयंती हर साल कार्तिक पूर्णिमा की पूर्णिमा तिथि को मनायी जाती है. इस त्योहार को दुनिया भर में सिखों द्वारा अत्यंत प्रेम और श्रद्धा के साथ मनाया जाता है. 

गुरु नानक जयंती 2022 कब है | When is Guru Nanak Jayanti 2022

गुरु नानक जयंती या गुरुपर्व 8 नवंबर, 2022 को है. इसे गुरु नानक देव जी की 553 वीं जयंती के रूप में मनाया जाएगा. जहां दिवाली चंद्र कैलेंडर के अनुसार कार्तिक महीने के 15 वें दिन पड़ती है, वहीं गुरु नानक जयंती कार्तिक पूर्णिमा के शुभ अवसर पर रोशनी के त्योहार के पंद्रह दिन बाद पड़ती है. इस साल कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर, पूर्ण चंद्र ग्रहण लग रहा है.

Lunar Eclipse November 2022: भारत के सभी प्रमुख शहरों में चंद्र ग्रहण की ये हैं टाइमिंग, जानें आपके शहर में कब दिखेगा ग्रहण

Advertisement


कार्तिक पूर्णिमा तिथि शुरू - 7 नवंबर को 04:15 बजे 

कार्तिक पूर्णिमा तिथि समाप्त - नवंबर 8 को  04:31 बजे 

गुरु नानक जयंती इतिहास और महत्व | Guru Nanak Jayanti History and Significance 

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, गुरु नानक देव जी का जन्म 1469 में तलवंडी ननकाना साहिब में हुआ था. ऐसी मान्यता है कि गुरु नानक देव जी ने सिख धर्म की नींव रखी और इस दुनिया में ज्ञान लाया. गुरु पर्व का त्योहार उनके जीवन, उपलब्धियों और विरासत का सम्मान करता है.

Advertisement

Happy Guru Nanak Jayanti 2022: गुरु पर्व पर इन Wishes, Messages और Quotes के जरिए अपनों को भेजें गुरु नानक जयंती की बधाई

Advertisement


गुरु नानक देव जी का मानना ​​था कि सच्ची प्रार्थना के माध्यम से कोई सर्वशक्तिमान से जुड़ सकता है. सिख धर्म के पवित्र धार्मिक ग्रंथ- गुरु ग्रंथ साहिब नामक पवित्र पुस्तक बनाने के लिए उनकी सभी शिक्षाओं को एक साथ बनाया गया है. गुरु ग्रंथ साहिब को अंतिम, संप्रभु और शाश्वत गुरु माना जाता है

Advertisement


गुरु पर्व के दिन गुरुद्वारों में 48 घंटों तक गुरु ग्रंथ साहिब का पाठ किया जाता है. इसके अलावा गुरु नानक देव के जन्मदिन से एक दिन पहले नागरकीर्तन नामक एक जुलूस का आयोजन किया जाता है. जिसका नेतृत्व पंज प्यारे नामक पांच लोग करते हैं, जो सिख त्रिकोणीय ध्वज, निशान साहिब रखते हैं. जुलूस के दौरान, गुरु ग्रंथ साहिब को एक पालकी में रखा जाता है और लोग समूहों में भजन गाते हैं, पारंपरिक संगीत वाद्ययंत्र बजाते हैं और अपने मार्शल आर्ट कौशल का प्रदर्शन करते हैं.

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

Featured Video Of The Day
Jaipur CNG Tanker Blast से जुड़े इन 7 सवालों के जवाब का जिम्मेदार कौन?