दिल्ली (Delhi) के सीलमपुर में अप्राकृतिक दुष्कर्म (Unnatural sexual harassment) और हमले से घायल हुए 10-11 साल के बच्चे की इलाज के दौरान मौत हो गई. इस बच्चे के साथ उसी के उम्र के उसके तीन दोस्तों ने 18 सितंबर को दुष्कर्म किया था और उस पर शारीरिक हमला भी किया था. बच्चे को गंभीर हालत में एलएनजेपी अस्पताल में भर्ती किया गया था. आज सुबह बच्चे की मौत हो गई.
इस मामले में दिल्ली महिला आयोग ने हस्तक्षेप किया था. दिल्ली महिला आयोग की चेयरपर्सन स्वाति मालीवाल ने आज ट्वीट किया- ये 12 साल का बच्चा अब हमारे बीच नहीं रहा. बच्चे ने बहुत दर्द सहा और आखिरी दम तक लड़ता रहा. उसके कातिलों को सख़्त सज़ा होनी ही चाहिए. जब हमको इतना ग़ुस्सा आ रहा है और दर्द महसूस हो रहा है, सोचें उसके मां-बाप पर क्या बीत रही होगी. भगवान उनको इस मुश्किल समय में शक्ति दे.
दिल्ली के सीलमपुर पुलिस थाने को 22 सितंबर को दोपहर में एलएनजेपी अस्पताल से सूचना मिली थी कि तीन दिन पहले हुए हमले के कारण घायल हुए करीब 10 साल के लड़के को भर्ती कराया गया है. आनन-फानन में पुलिस टीम अस्पताल पहुंची. पुलिस ने बच्चे के माता-पिता से मुलाकात की, लेकिन उन्होंने बयान देने से इनकार कर दिया. बच्चे का इलाज चल रहा था.
बच्चे के परिवार ने 24 सितंबर तक बयान नहीं दिया. इसके बाद पुलिस ने संस्था "सखी" के जरिए काउंसलर की व्यवस्था की और घायल बच्चे की मां की काउंसलिंग की गई. इस पर बच्चे की मां ने खुलासा किया कि तीन दिन पहले यानी 18 सितंबर को उसके बेटे को उसके तीन दोस्तों ने शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया था और उसके साथ दुष्कर्म किया था.
उनके बयान पर 24 सितंबर को यू/एस 377/34 आईपीसी के साथ 6 पॉक्सो एक्ट के तहत एफआईआर दर्ज की गई और जांच शुरू की गई. जांच के दौरान पता चला कि पीड़ित और आरोपी लड़के पड़ोसी और दोस्त हैं. वे समान सभी 10-12 साल के हैं. साथ ही यह भी पता चला कि वे एक ही समुदाय के हैं और न्यू सीलमपुर झुग्गी के निवासी हैं. उनमें से एक बच्चे को पकड़ लिया गया और जेजेबी के समक्ष पेश किया गया है. शेष दो को पकड़ने के प्रयास जारी हैं.