Sanjay Manjrekar Defends Shardul Thakur: भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच दो टेस्ट मैचों की सीरीज 1-1 से बराबरी पर छूटी है. भारत को सीरीज के पहले मैच में पारी और 32 रनों से शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा तो इसके बाद टीम इंडिया ने वापसी की और सीरीज के दूसरे मैच में दक्षिण अफ्रीका को 7 विकेट से हरा दिया. सीरीज का पहला मैच जहां तीन दिन में खत्म हुआ तो दूसरा मैच सिर्फ पांच सेशन में ही खत्म हुआ. भारत के पूर्व क्रिकेटर संजय मांजरेकर का मानना है कि सेंचुरियन में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ भारत की हार के पीछे मुख्य कारणों में से एक पूरी तरह से उनके गेंदबाजों का खराब प्रदर्शन था और निराशाजनक प्रदर्शन के बावजूद शार्दुल ठाकुर का बचाव करना था. शार्दुल ठाकुर ने पहले टेस्ट में गेंद और बल्ले दोनों से विफल रहे थे. पहले टेस्ट में उन्होंने 19 ओवर गेंदबाजी की थी और वो केवल एक विकेट लेने में सफल हो पाए थे. इस दौरान उन्होंने 101 रन लुटाए थे. वहीं दूसरे टेस्ट में शार्दुल ठाकुर को प्लेइंग इलेवन से बाहर किया गया था. मुकेश कुमार ने शार्दुल ठाकुर को दूसरे टेस्ट में प्लेइंग इलेवन में रिप्लेस किया था. मांजरेकर ने कहा कि पूरी भारतीय गेंदबाजी टीम पहले टेस्ट में सामूहिक रूप से विफल रही और थिंक टैंक ने शायद नंबर 8 पर एक बेहतर बल्लेबाज को लाना चाहा, जहां ठाकुर थे.
ईएसपीएनक्रिकइंफो के साथ करते हुए संजय मांजरेकर ने कहा,"मैं समझता हूं कि वे शार्दुल के साथ गहराई से बल्लेबाजी क्यों चाहते थे, खासकर यह देखते हुए कि उनके पास 1,3 और 5 नंबर पर बल्लेबाजी करने वाले नए खिलाड़ी हैं और दक्षिण अफ्रीका में शार्दुल का रिकॉर्ड भी है. मुझे लगता है कि हर चीज के लिए शार्दुल ठाकुर को दोष देना अनुचित है. मुझे लगता है कि भारत ने आम तौर पर उस टेस्ट मैच में अच्छी गेंदबाजी नहीं की और इससे उन्हें सीरीज जीतने का मौका नहीं मिला."
संजय मांजरेकर ने आगे कहा,"मुझे डर है कि शार्दुल ठाकुर को अपना अगला टेस्ट मैच खेलने के लिए थोड़ा इंतजार करना होगा. उन्हें उनकी गेंदबाजी को देखना होगा. ऐसा नहीं है कि उन्होंने बल्ले से 40-50 रन बनाए हैं. हो सकता है कि वह लंबे समय तक टेस्ट मैच न खेलें. जबकि अब भारत अपनी बल्लेबाजी को मजबूत करने के अन्य तरीके ढूंढेगा."
बात करें दूसरे टेस्ट मैच की तो ये मैच दो दिन से भी कम समय में खत्म हुआ जिसमें भारत ने जीत दर्ज की. मेहमान टीम ने यह मैच सात विकेट से जीत लिया और मैच टेस्ट इतिहास का सबसे छोटा मैच रहा. इस मैच के पहले दिन कुल 23 विकेट गिरे. टॉस जीतकर बल्लेबाजी करते उतरी दक्षिण अफ्रीकी टीम पहली पारी में सिर्फ 55 रनों पर ऑल-आउट हो गई. पहली पारी में भारत के लिए मोहम्मद सिराज ने 6 विकेट झटके. इसके जवाब में भारतीय टीम 153 रनों पर ऑल-आउट हो गई. दक्षिण अफ्रीका ने दूसरी पारी में 176 रन बनाए. भारत को पहली पारी के आधार पर मिली बढ़त के चलते जीत के लिए 79 रनों का लक्ष्य मिला, जिसे टीम इंडिया ने तीन विकेट खोकर ही हासिल किया.
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