- नासिर हुसैन ने मोहम्मद सिराज के ओवल टेस्ट में हैरी ब्रुक का कैच छोड़ने को मैच का निर्णायक क्षण बताया है.
- सिराज ने पूरी सीरीज में अच्छी गेंदबाजी की पर कैच ड्रॉप के कारण उनकी पहचान उस गलती से हो सकती है.
- हैरी ब्रुक ने 111 रन की तेज पारी खेली जो उनकी टेस्ट करियर की दसवीं शतकीय पारी साबित हुई.
Nasser Hussain on Mohammed Siraj : इंग्लैंड के पूर्व कप्तान नासिर हुसैन (Nasser Hussain) का मानना है कि एंडरसन-तेंदुलकर ट्रॉफी में गेंद से अच्छा प्रदर्शन करने के बावजूद मोहम्मद सिराज को 'द ओवल' टेस्ट (IND vs ENG 5th Test) के चौथे दिन हैरी ब्रुक (Harry Brook Catch drop) का कैच सफलतापूर्वक नहीं पकड़ पाने के लिए याद रखा जाएगा. 35वें ओवर की पहली गेंद पर, ब्रूक को 19 रन पर बड़ा जीवनदान मिला जब सिराज, जो थोड़े समय के ब्रेक के बाद मैदान पर वापस आए थे, ने प्रसिद्ध की गेंद पर डीप में कैच लेने की कोशिश की. लेकिन कैच लेते समय सिराज का पैर बाउंड्री लाइन से टच कर गया. पूरी सीरीज में अच्छी गेंदबाजी के बावजूद सिराज को इसी कैच के लिए याद रखा जा सकता है. (India's Mohammed Siraj drops catch, gifting Harry Brook six runs)
हुसैन ने स्काई स्पोर्ट्स पर कहा, "वह मैच बदलने वाला क्षण था. अगर उस समय ब्रूक आउट हो जाते, तो इंग्लैंड के लिए मुश्किल हो सकती थी." हुसैन ने आगे कहा, "सिराज के साथ शायद दो पल ऐसे होंगे, लॉर्ड्स में जब उन्होंने कड़ी मेहनत की थी और वह 22 साल के हैं, और फिर वह पल जब वह हारने वाली टीम में होने के लायक नहीं थे. मुझे उम्मीद है कि उन्हें उस कैच के लिए याद नहीं किया जाएगा. हो सकता है कि वे कल मैच जीत जाएं, कौन जानता है, जैसे मैंने कमेंट्री में इसका ज़िक्र किया था. "
पूर्व इंग्लिश कप्तान ने आगे कहा, "आपको सिराज के लिए दुख हो रहा है क्योंकि उन्होंने बहुत मेहनत की है और वह अंत तक लगातार अच्छा प्रदर्शन करते रहे. उन्होंने पूरी सीरीज़ चेहरे पर मुस्कान के साथ खेली है. हैरी बुक्स की पारी..हालांकि. उह, यह एक ऐसी पारी थी जहां उन्होंने धीरे-धीरे शुरुआत की और फिर टेस्ट सीरीज के असली हीरो बनकर उभरे." भारत के लिए यह एक महंगी गलती साबित हुई क्योंकि ब्रूक ने 111 रनों की तेज पारी खेली। ब्रूक का यह दसवां टेस्ट शतक था.
हुसैन ने ब्रूक की तारीफ करते हुए कहा, "उसने अपनी गति बिल्कुल सही रखी, जिससे रूट दूसरे छोर पर अपनी गति से खेल सके। ब्रूक में ताकत तो है ही, साथ ही उसके हाथों की गति भी कमाल की है, जिससे वह गेंद को आसानी से हिट करता है। वह किसी भी वाइड गेंद पर झपट पड़ता है. उसने 50 पारियों में 10 शतक लगाए हैं, जो अविश्वसनीय है और उसका भविष्य उज्ज्वल है क्योंकि उसमें रनों की भूख है.
इंग्लैंड के पूर्व कप्तान हुसैन ने जो रूट की भी तारीफ की. उन्होंने कहा कि रूट ने रूट की तरह ही खेला। गुस्से में बमुश्किल ही कोई शॉट खेला. मुझे नहीं पता कि मैंने उसे आज जितना अच्छा कवर ड्राइव खेलते हुए कभी देखा है, जो एक बड़ी बात है.वह कवर ड्राइव बहुत अच्छी तरह से करता है.
जो रूट ने भी अपने टेस्ट करियर का 39वां शतक लगाया. उन्होंने 152 गेंद पर 12 चौके लगाते हुए 105 रन की पारी खेली.