दो फोटो, 14 साल का इंतजार और हरमनप्रीत का करिश्मा, भारतीय क्रिकेट की खास तस्वीर देख लीजिए

Harmanpreet Kaur Recreates MS Dhoni Iconic WC Trophy Pose: भारत की महिला टीम की यह ऐतिहासिक जीत न सिर्फ़ 2011 की यादों को ताज़ा करती है, बल्कि यह साबित करती है कि भारतीय क्रिकेट अब हर स्तर पर विश्व क्रिकेट की शिखर पर खड़ा है.

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Harmanpreet Kaur Recreates MS Dhoni Iconic WC Trophy Pose
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  • हरमनप्रीत कौर ने मुंबई के गेटवे ऑफ इंडिया पर महिला विश्व कप ट्रॉफी के साथ किया पोज
  • भारत ने महिला विश्व कप फाइनल में दक्षिण अफ्रीका को 52 रनों से हराकर पहली बार यह खिताब अपने नाम किया
  • 2011 में पुरुष विश्व कप जीतने वाले भारतीय क्रिकेट के स्वर्णिम क्षण से 2025 की महिला विश्व कप जीत जुड़ी हुई है
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Harmanpreet Kaur Recreates MS Dhoni Iconic WC Trophy Pose: सोमवार को भारतीय क्रिकेट इतिहास ने खुद को दोहराया. महिला टीम की कप्तान हरमनप्रीत कौर ने मुंबई के गेटवे ऑफ इंडिया के सामने महिला विश्व कप ट्रॉफी के साथ पोज़ दिया, जिसने 2011 में पुरुष विश्व कप खिताब के बाद एमएस धोनी की प्रतिष्ठित तस्वीर की याद दिला दी. भारत ने आईसीसी टूर्नामेंटों में लंबे समय से चली आ रही निराशा को पीछे छोड़ते हुए फाइनल में दक्षिण अफ्रीका को 52 रनों से हराकर पहली बार महिला विश्व कप जीत लिया.

गेटवे ऑफ इंडिया पर हरमनप्रीत का ऐतिहासिक पोज़

अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) ने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर हरमनप्रीत की तस्वीरें साझा कीं. एक तस्वीर में वह ट्रॉफी के साथ उसी अंदाज़ में खड़ी नजर आईं, जैसे धोनी 2011 में पुरुष विश्व कप जीत के बाद खड़े थे. यह तस्वीर भारतीय क्रिकेट के दो स्वर्णिम पलों को जोड़ती है, 2011 की जीत और 2025 की ऐतिहासिक महिला विश्व कप विजय.

2011 और 2025 के जीत की गूंज

2011 में धोनी की कप्तानी में भारत ने पाकिस्तान और श्रीलंका जैसी दिग्गज टीमों को हराकर विश्व कप अपने नाम किया था. उस फाइनल में गौतम गंभीर (97) और धोनी (91) की पारियों ने जीत सुनिश्चित की थी.

अब 2025 में, हरमनप्रीत की टीम ने भी वही जज़्बा दिखाया. शेफाली वर्मा (87) और दीप्ति शर्मा (58) की दमदार पारियों से भारत ने 298/7 का स्कोर खड़ा किया. दक्षिण अफ्रीका की कप्तान लॉरा वोल्वार्ट (101) के बावजूद पूरी टीम 246 रन पर सिमट गई, और भारत ने सुनहरा इतिहास रच दिया.

पूर्व दिग्गजों को समर्पित की जीत

मैच के बाद भावुक हरमनप्रीत ने पूर्व भारतीय स्टार्स झूलन गोस्वामी और अंजुम चोपड़ा को इस जीत का श्रेय दिया. उन्होंने कहा, “झूलन दी मेरे लिए हमेशा सहारा रही हैं. जब मैं टीम में नई थी, उन्होंने मुझे संभाला, सिखाया और प्रेरित किया. अंजुम दी ने भी मुझे अपने साथ जोड़ा और बहुत कुछ सिखाया.”

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हरमनप्रीत ने आगे कहा, “मैं आज जो भी हूँ, उसमें उनका बड़ा योगदान है. यह ट्रॉफी उनके और उन सभी के नाम है जिन्होंने महिला क्रिकेट को आगे बढ़ाने में भूमिका निभाई.” भावनाओं से भरी हरमनप्रीत ने कहा, “यह पल हमारे लिए बहुत खास है. हम सब लंबे समय से इसका इंतज़ार कर रहे थे. आखिरकार, हमने उस ट्रॉफी को छू लिया जिसका सपना हर भारतीय लड़की देखती है. यह जीत सिर्फ हमारी नहीं, पूरे देश की है.”

भारत की महिला टीम की यह ऐतिहासिक जीत न सिर्फ़ 2011 की यादों को ताज़ा करती है, बल्कि यह साबित करती है कि भारतीय क्रिकेट अब हर स्तर पर विश्व क्रिकेट की शिखर पर खड़ा है.

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