कोलकाता के आरजी मेडिकल कॉलेज की घटना के बाद दिल्ली के फोर्टिस अस्पताल ने अपनी महिला चिकित्सकों और अन्य स्टाफ को आत्मरक्षा की तरकीब सिखाने का फैसला किया है. इसके लिए अस्पताल में सात दिन का कार्यक्रम आयोजित किया गया है, जहां विशेषज्ञ महिला मेडिकल स्टाफ को सेल्फ डिफेंस के गुर सिखा रहे हैं.
प्रशिक्षण के दौरान उन्हें विस्तार से बताया जा रहा है कि अगर कभी उनके जीवन में इस तरह की अप्रिय स्थिति पैदा हो, तो वे खुद का बचाव कैसे कर सकती हैं. इसके अलावा, प्रशिक्षण के दौरान महिला चिकित्साकर्मियों को इम्प्रोवाइज़्ड हथियारों का उपयोग करने की तरकीब भी सिखाई जा रही है.
फोर्टिस अस्पताल, शालीमार बाग के फैसिलिटी डायरेक्टर दीपक नारंग ने कहा, “हम दिल्ली पुलिस के इस महत्वपूर्ण सहयोग के लिए उनके आभारी हैं. आज के समय में हर एक लड़की और महिला को आत्मरक्षा के हुनर आने चाहिए. हमारा मकसद फीमेल स्टाफ को किसी भी चुनौतीपूर्ण स्थति में निर्णायक तरीके से प्रतिक्रिया के लिए तैयार करना है.”
डीसीपी जितेंद्र कुमार मीणा ने कहा, “यह कार्यक्रम अस्पतालों में कार्यरत महिला मेडिकल स्टाफ को अधिक जागरूक बनाने के उद्देश्य से शुरू किया गया है. हम इस प्रोग्राम के जरिए उन्हें आत्मरक्षा के लिए जरूरी क्षमताओं से लैस करेंगे. इस ट्रेनिंग के बाद महिलाओं का आत्म-स्वाभिमान भी बढ़ेगा ताकि वे खुद को कमजोर और अपमानित न महसूस करें. आत्मरक्षा के कौशल से सुसज्जित कोई भी व्यक्ति जरूरत पड़ने पर अपनी और दूसरों की रक्षा कर पाता है. दिल्ली पुलिस का प्रयास है कि शहर की महिलाएं और महिला चिकित्साकर्मी न सिर्फ सुरक्षित रहें, बल्कि वे हर तरह से सशक्त भी बनें और परिवर्तन प्रकोष्ठ इसी दिशा में प्रयासरत है.”
बीते दिनों पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में प्रशिक्षु महिला डॉक्टर की दुष्कर्म के बाद हत्या कर दी गई थी. इस घटना को लेकर पूरे देश में आक्रोश है. घटना को लेकर राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप भी तेज हैं. भाजपा का आरोप है कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी आरोपियों को बचाने का प्रयास कर रही हैं.