लार्सन एंड टुब्रो (L&T) की HR हेड सोनिका मुरलीधरन ने चेयरमैन एसएन सुब्रह्मण्यन के 90 घंटे काम करने के बयान का बचाव किया, जिसने देशभर में बड़ा विवाद खड़ा कर दिया था. इस बयान को लेकर देशभर में बहस छिड़ गई, जिसमें कई मशहूर हस्तियों ने अपनी प्रतिक्रियाएं दीं. सोनिका मुरलीधरन ने कहा कि चेयरमैन के बयान को "गलत संदर्भ" में समझा गया और इसे गलत ढंग से पेश किया गया है.
"सुब्रह्मण्यन ने कभी भी 90 घंटे काम करने का आदेश नहीं दिया"
सोनिका मुरलीधरन ने लिंक्डइन पर एक पोस्ट में कहा, "यह देखना बेहद निराशाजनक है कि हमारे MD और चेयरमैन SN सुब्रह्मण्यन के शब्दों को गलत तरीके से लिया गया, जिससे गलतफहमियां पैदा हुई और अनावश्यक आलोचना हुई. मैं इस दौरान उपस्थित थी और कह सकती हूं कि सुब्रह्मण्यन ने कभी भी 90 घंटे काम करने का आदेश नहीं दिया."
चेयरमैन का मकसद कर्मचारियों को उत्साहित करना
इसके आगे सोनिका मुरलीधरन कहा कि चेयरमैन के शब्द "सामान्य" थे और उनका मकसद कर्मचारियों को उत्साहित करना था, न कि किसी पर दबाव डालना. सोनिका मुरलीधरन ने सुब्रह्मण्यन के लीडरशिप स्किल की सराहना करते हुए कहा, "वह हर कर्मचारी को अपने एक्सटेंडेड फैमिली का हिस्सा मानते हैं, जो आज के कॉर्पोरेट जगत एक दुर्लभ बात है."
सोनिका मुरलीधरन ने आगे कहा कि लोगों को चेयरमैन के शब्दों के संदर्भ और उनके इरादे को सही से समझने की आवश्यकता है. "इस तरह के लीडर पॉजिटिव चेंज और डेवलपमेंट की प्रेरणा देते हैं. हमें उनका सम्मान करना चाहिए और विवाद पर ध्यान देने के बजाय उनके प्रयासों को पहचानना चाहिए, जो अपनी टीम को सशक्त बनाते हैं."
L&T ने चेयरमैन के 90 घंटे काम करने के बयान पर विवाद
गौरतलब है कि सुब्रह्मण्यन ने पिछले हफ्ते कहा था कि कर्मचारियों को 90 घंटे काम करने चाहिए और रविवार को भी काम करना चाहिए, ताकि कॉम्पिटिटिव बने रहें.
उनके इस बयान ने देशभर में नाराजगी फैलाकर सोशल मीडिया पर चर्चाएं शुरू कर दीं.
कई दिग्गजों ने सुब्रह्मण्यन के बयान पर दी प्रतिक्रिया
सुब्रह्मण्यन के बयान के बाद, बॉलीवुड एकट्रेस दीपिका पादुकोण, सीरम इंस्टीट्यूट के CEO आदर पूनावाला, RPG ग्रुप के चेयरमैन हर्ष गोयंका और महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा जैसे बड़े नामों ने इस पर प्रतिक्रियाएं दीं. सोशल मीडिया पर यूजर्स ने इस बयान की तुलना इन्फोसिस के फाउंडर नारायण मूर्ति से की, जिन्होंने पिछले साल 70 घंटे काम करने की बात की थी.
हालांकि, सोनिका मुरलीधरन ने इस विवाद पर काफी सही तरीके से जवाब दिया, और चेयरमैन के बयान को सही संदर्भ में रखने की अपील की.