बिहार के चंपारण में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi) की प्रतिमा तोड़ने की शर्मनाक घटना सामने आई है. 13 फरवरी (रविवार) की रात में एक नशेबाज ने बापू की मूर्ति को तोड़ डाला. मूर्ति तोड़ने वाला शख्स नशे में था. पुलिस ने लड़के को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं, सामाजिक संगठन के लोगों ने मूर्ति निर्माण में घोटाले की ओर इशारा करते हुए तोड़ने वाले व्यक्ति के ऊपर कड़ी करवाई की मांग की है. जिलाधिकारी सहित आला अफसरों ने मूर्ति स्थल का किया निरीक्षण.
गांधी की कर्मभूमि चंपारण की धरती पर मोतिहारी टाउन थाना से महज 150 मीटर की दूरी पर चरखा पार्क के ठीक पीछे गांधी की कांस्य धातु से बनी जैसी प्रतीत होती आदमकद मूर्ति लगी थी, जिसे नशेबाज युवक ने तोड़ दिया था. अगले दिन सुबह इस बात की जानकारी प्रशासन को मिली. जिसके बाद जिले के आला अधिकारी मौके पर पहुंचे. बाद में मूर्ति तोड़ने वाले की गिरफ्तारी भी कर ली गई.
घटना के विरोध में 15 फरवरी को चरखा पार्क में समाजसेवी धरने पर बैठ गए. उन्होंने अविलंब मूर्ति निर्माण कराने और तोड़ने वाले के खिलाफ कार्रवाई की मांग की.
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मूर्ति तोड़ने वाले लड़के का कहना है कि वो नशे में था और उसने व्हाइटनर का सेवन किया था. गिरफ्तार लड़के ने बताया कि एक ही झटके में उसने मूर्ति को तोड़ डाला था. सवाल उठ रहे हैं कि आखिर कांस्य जैसे धातु से बनी प्रतीत होती हुई मूर्ति प्लास्टर ऑफ पेरिस से कैसे निर्मित की गई.
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