रूस (Russia) ने सोमवार को चेतावनी दी है फिनलैंड (Finland)और स्वीडन (Sweden) का नाटो (NATO) सैन्य संगठन में शामिल होने का फैसला एक गंभीर भूल है और रूस इसके खिलाफ कदम उठाएगा. रूस के उप विदेश मंत्री सर्गेई रेयाबकोव (Sergei Ryabkov) ने पत्रकारों से यह कहा. रूसी न्यूज़ एजेंसी ने उनके हवाले से कहा कि, " सैन्य तनाव का सामान्य स्तर और बढ़ जाएगा." रूस यूक्रेन की नाटो सदस्यता की दावेदारी का विरोध कर रहा था, जिसके बाद रूस ने यूक्रेन पर हमला बोल दिया था.
सर्गेई रेयाबकोव (Sergei Ryabkov) ने कहा, " यह शर्म की बात है कि सामान्य ज्ञान की कुछ क्रांतिकारी विचारों के लिए बलि चढाई जा रही है, जो इस बारे में हैं कि मौजूदा परिस्थिति में क्या किया जाना चाहिए, और क्या नहीं."
रेयाबकोव ने कहा कि इन दो देशों की सुरक्षा नाटो में शामिल होने से बढ़ेगी नहीं और रूस भी कदम उठाएगा. उन्होंने कहा, " उन्हें कोई गलतफहमी नहीं होनी चाहिए कि हम इसे बर्दाश्त करेंगे."
फिनलैंड और स्वीडन दशकों की सैन्य गुटनिरपक्षेता को छोड़ कर रूस के आक्रमण के डर से बचने के लिए नाटो में शामिल होने जा रहे हैं.
रूस ने फिनलैंड को चेतावनी दी कि वो "बदला लेगा". फिनलैंड से रूस की 1,300 किलोमीटर की सीमा लगती है,
फिनलैंड की राष्ट्रपति साउली निनिस्तो ने अपने रूसी समकक्ष व्लादिमिर पुतिन से शनिवार को बात की थी, जिसमें उन्होंने देश की नाटो सदस्यता के लिए दी जा रही एप्लीकेशन के बारे में उन्हें बताया था.
रूसी संसद ने कहा कि पुतिन ने फिनसैंड की तरफ से सैन्य गुटनिरपेक्षता को छोडना एक गलती बताया.
फिनलैंड ने रविवार को नाटो में शामिल होने के अपने मंसूबों की घोषणा की और स्वीडन की सत्ताधारी पार्टी ने कहा कि वो सदस्यता के समर्थन में है, जिससे संयुक्त प्रार्थनापत्र का रास्ता खुल गया है.