रूस ने यूक्रेन में दागीं 100 मिसाइलें, हमलों के बाद खेरसॉन और कीव में ब्लैकआउट

रूसी सैनिकों के खेरसॉन से बाहर निकलने के बाद रूस की ओर से ये सबसे बड़ा हमला माना जा रहा है. फिलहाल यूक्रेनी अधिकारियों ने आपातकालीन बिजली आपूर्ति बंद करने (ब्लैकआउट) की घोषणा की है.

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रूसी सैनिकों ने इससे पहले 10 अक्टूबर को 84 मिसाइल अटैक किए थे.
कीव:

रूस और यूक्रेन के बीच जंग को 9 महीने होने को है. इस बीच रूस यूक्रेन के कई शहरों को तबाह कर चुका है. लेकिन, कुछ शहरों को यूक्रेन ने वापस अपने कब्जे में लेने का दावा भी किया है. इसमें खेरसॉन भी शामिल है. अब खबर है कि रूस ने यूक्रेन पर मंगलवार को एक साथ 100 मिसाइलें दागी हैं. कीव की दो आवासीय इमारतों को निशाना बनाते हुए मिसाइल हमले किए गए हैं. हमले के बाद शहर में खतरे के सायरन भी बचने लगे. मिसाइल हमलों से शहर में बिजली सप्लाई बंद हो गई है. 

कीव में वायु सेना के प्रवक्ता यूरी इग्नाट ने यूक्रेनी टेलीविजन को बताया, "लगभग 100 मिसाइलें पहले ही लॉन्च की जा चुकी हैं. रूसी सैनिकों ने इससे पहले 10 अक्टूबर को 84 मिसाइल अटैक किए थे." रूसी सैनिकों के खेरसॉन से बाहर निकलने के बाद रूस की ओर से ये सबसे बड़ा हमला माना जा रहा है. फिलहाल यूक्रेनी अधिकारियों ने आपातकालीन बिजली आपूर्ति बंद करने (ब्लैकआउट) की घोषणा की है.

इस हमले की जानकारी देते हुए कीव के मेयर विटाली क्लिट्सको ने सोशल मीडिया पर एक बयान में कहा “राजधानी पर हमला हुआ है. प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, पेचेर्सक जिले में दो आवासीय इमारतों को निशाना बनाया गया है. एयर डिफेंस सिस्टम ने कई मिसाइ को मार भी गिराया है. हमले के बाद मेडिकल और रेस्क्यू टीम मौके पर मौजूद है."

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जी-20 शिखर सम्मेलन में क्या बोले जेलेंस्की
वहीं, यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमीर जेलेंस्की ने मंगलवार को दक्षिणी शहर खेरसॉन पर दोबारा कब्जे की तुलना ‘डी-डे' से की जब द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान मित्र देशों की सेनाएं फ्रांस में उतरी थी. उन्होंने कहा कि दोनों घटनाएं अंतरिम रूप से विजय दिलाने के लिहाज से निर्णायक हैं. इंडोनेशिया में आयोजित जी-20 शिखर सम्मेलन में जेलेंस्की ने वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से हिस्सा लिया. उन्होंने इस सम्मेलन में कहा कि आठ महीने बाद रूस के कब्जे से खेरसॉन की आजादी अतीत के कई युद्धों का स्मरण कराती है, जो युद्ध में निर्णायक साबित हुए.

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