पाकिस्तान (Pakistan) में विनाशकारी बाढ़ (Floods) से मरने वालों की संख्या सोमवार को 1,100 के करीब पहुंच गई. पाकिस्तान में पिछले दो दिनों से लगातार हो रही भारी बारिश (Heavy rain) के कारण ऐसे हालात बने हैं. प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ के नेतृत्व वाली सरकार के मदद की अपील के बाद पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय सहायता मिलनी शुरू हो गई है. भारी बारिश और बाढ़ को लेकर पाकिस्तान के जलवायु परिवर्तन मंत्री शेरी रहमान ने इसे "दशक का राक्षस मानसून" कहा है, जबकि वित्त मंत्री मिफ्ता इस्माइल ने कहा कि बाढ़ ने पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था को 10 बिलियन अमरीकी डालर का नुकसान किया है.
1,061 लोगों की मौत, 1,575 घायल
प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए मुख्य राष्ट्रीय संगठन राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा सोमवार को जारी नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, कम से कम 1,061 लोग मारे गए और 1,575 घायल हुए. लगभग 992,871 घर पूरी तरह या आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए, जिससे लाखों लोगों को भोजन, स्वच्छ पेयजल और आश्रय तक नहीं मिल पा रहा है. करीब 7,19,558 पशुधन भी मर चुके हैं. लाखों एकड़ उपजाऊ खेत हफ्तों की लगातार बारिश से जलमग्न हो गए हैं.पाकिस्तान के अधिकारियों का कहना है कि अमेरिका, ब्रिटेन, संयुक्त अरब अमीरात और अन्य ने आपदा अपील में योगदान दिया है, लेकिन पाकिस्तान को उससे भी अधिक धन की आवश्यकता है.
दुनिया भर के नेताओं ने जताई चिंता
महारानी एलिजाबेथ ने कहा कि वह पाकिस्तान में बाढ़ के कारण जान-माल के नुकसान से बहुत दुखी हैं, उन्होंने कहा कि ब्रिटेन पाकिस्तान के साथ एकजुटता से खड़ा है. राष्ट्रपति आरिफ अल्वी को एक संदेश में, महारानी एलिजाबेथ ने कहा: "मैं पाकिस्तान भर में बाढ़ के कारण हुए दुखद नुकसान और विनाश के बारे में सुनकर बहुत दुखी हूं. ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा कि पाकिस्तान में बाढ़ से लगातार हो रही तबाही को देखकर दिल दहल जाता है.
पोप फ्रांसिस ने रविवार को अंतरराष्ट्रीय समुदाय से पाकिस्तान की मदद करने का आह्वान किया और कहा कि वह पीड़ितों के लिए प्रार्थना कर रहे हैं. पिछले हफ्ते, संयुक्त राष्ट्र ने कहा कि उसने देश में राहत उपायों के लिए 2.6 मिलियन पाउंड निर्धारित किए हैं. बाढ़ पीड़ितों के लिए राहत सामग्री के साथ तुर्की का पहला विमान रविवार को पाकिस्तान पहुंचा.
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