डेनमार्क-नार्वे समेत कई देशों ने AstraZeneca की कोरोना वैक्सीन के इस्तेमाल पर लगाई रोक

खून का थक्का जमने के कुछ मामलों के बाद डेनमार्क ने एस्ट्राजेनेका के इस्तेमाल पर सबसे पहले रोक लगाई थी. डेनमार्क के स्वास्थ्य अधिकारियों ने इसकी घोषणा की थी.

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AstraZeneca के इस्तेमाल पर आइसलैंड ने भी रोक लगाई थी
कोपेनहेगेन:

AstraZeneca's Covid-19 vaccine :डेनमार्क, नार्वे और आइसलैंड ने एस्ट्राजेनेका की कोरोना वैक्सीन कोविशील्ड के इस्तेमाल पर रोक लगा दी है. कोविड-19 वैक्सीन लेने वाले कुछ लोगों में खून का थक्का (blood clots) जमने की चिंताओं के बाद यह निर्णय किया गया. यूरोप की दवा निर्माता कंपनियों के नियामक ने जोर देकर कहा कि वैक्सीन पूरी तरह सुरक्षित है.

खून का थक्का जमने के कुछ मामलों के बाद डेनमार्क ने एस्ट्राजेनेका के इस्तेमाल पर सबसे पहले रोक लगाई थी. डेनमार्क के स्वास्थ्य अधिकारियों ने इसकी घोषणा की थी.डेनमार्क के अधिकारियों ने कहा है कि ऐहतियात के तौर पर यह कदम उठाया गया है. अभी किसी नतीजे पर नहीं पहुंचा गया है कि वैक्सीन और रक्त के थक्के जमने की बीच कोई संबंध है.

यूरोपियन इकोनॉमिक एरिया की यूरोपीय मेडिसिन्स एजेंसी ( EMA)  ने कहा कि 9 मार्च तक ब्लड क्लॉट के ऐसे 22 मामले मिले हैं. ऑस्ट्रिया ने सोमवार को ही एक नर्स की मौत के बाद ही एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन के इस्तेमाल पर रोक लगाई थी. कोविड रोधी वैक्सीन लेने के बाद इसमें कई गंभीर रक्त संबंधी समस्याएं सामने आई थीं.

वहीं यूरोप के चार और देश एस्टोनिया, लातविया, लिथुआनिया और लग्जमबर्ग पहले ही एस्ट्राजेनेका के टीके से वैक्सीनेशन के अभियान को निलंबित कर चुके हैं. एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन 17 यूरोपीय देशों में भेजी गई थी. डेनमार्क ने एस्ट्राजेनेका की आपूर्ति रोक दी है. ऐसा ही निर्णय नार्वे और आइसलैंड ने किया है. हालांकि प्रारंभिक जांच से EMA को पता चला है कि ऑस्ट्रिया में इस्तेमाल कोरोना वैक्सीन एस्ट्राजेनेका के कारण संभवतः नर्स की मौत नहीं हुई है.

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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