किंग चार्ल्स तृतीय की ताजपोशी आज, ये लोग होंगे शामिल, 70 साल बाद हो रहा समारोह

किंग चार्ल्स तृतीय के राज्याभिषेक समारोह में भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ के शामिल होने की उम्मीद है. ऐसा समारोह अंतिम बार करीब 70 साल पहले देखा गया था, जब चार्ल्स की दिवंगत मां महारानी एलिजाबेथ द्वितीय की जून 1953 में ताजपोशी हुई थी.

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मुंबई के डब्बा वालों ने महाराजा चार्ल्स तृतीय के लिए ‘पुनेरी पगड़ी’भेजी

ब्रिटेन के महाराज चार्ल्स तृतीय और क्वीन कैमिला की आज वेस्टमिंस्टर ऐबे चर्च में ताजपोशी होगी. बकिंघम पैलेस की ओर से बताया गया कि महाराज चार्ल्स तृतीय के राज्याभिषेक में 2,200 लोग शामिल होंगे, जिनमें शाही परिवार के सदस्य, विश्व के नेता और वेल्स के राजकुमार के तौर पर उनकी धर्मार्थ पहल से जुड़े रहे भारतीय समुदाय के कार्यकर्ता भी शामिल होंगे. ब्रिटेन में 70 साल बाद इस समारोह का आयोजन करने का अवसर आया है. इससे पहले 1953 में क्वीन एलिजाबेथ की ताजपोशी हुई थी, तब चार्ल्स की उम्र महज 4 साल थी.

70 साल पहले हुआ था ऐसा समारोह
इस भव्य समारोह में उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ भारत का प्रतिनिधित्व करने जा रहे हैं. ऐसा समारोह अंतिम बार करीब 70 साल पहले देखा गया था,  जब चार्ल्स की दिवंगत मां महारानी एलिजाबेथ द्वितीय की जून 1953 में ताजपोशी हुई थी. बकिंघम पैलेस ने बताया, 'समारोह में शामिल होने वाले मेहमानों में शाही परिवार के सदस्यों के साथ-साथ 203 देशों के अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधि शामिल होंगे, जिनमें लगभग 100 राष्ट्राध्यक्ष होंगे.'

ये हस्तियां हो रही शामिल
चार्ल्स तृतीय की ताजपोशी समारोह में शामिल होने वालों में सौरभ फड़के भी होंगे, जो प्रिंस फाउंडेशन बिल्डिंग क्राफ्ट प्रोग्राम के स्नातक हैं और उन्होंने चार्ल्स द्वारा डम्फ़्रीज़ हाउस, स्कॉटलैंड में स्थापित प्रिंस फाउंडेशन स्कूल ऑफ ट्रेडिशनल आर्ट्स से अध्ययन किया है. इसके साथ ही समारोह में हिस्सा लेने वालों में गुलफ्शा भी शामिल हैं, जिन्हें 2022 में प्रिंस ट्रस्ट ग्लोबल अवार्ड से सम्मानित किया गया था. समारोह में आमंत्रित व्यक्तियों में कनाडा से, भारतीय मूल के जय पटेल भी शामिल हैं जिन्होंने मई 2022 में प्रिंस ट्रस्ट कनाडा का युवा रोजगार कार्यक्रम पूरा किया था. समारोह में शामिल होने जा रहे अतिथि सूची में संसद सदस्य, पूर्व ब्रिटिश प्रधानमंत्री, चर्च और अन्य धर्मों के प्रतिनिधि, देश की रक्षा सेवाओं के प्रतिनिधि, नोबेल पुरस्कार विजेता और ब्रिटिश साम्राज्य पदक (बीईएम) प्राप्तकर्ता भी शामिल हैं. 

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मुंबई के डब्बा वालों ने महाराजा चार्ल्स तृतीय के लिए ‘पुनेरी पगड़ी'भेजी
मुंबई के डब्बा वालों ने लंदन में होने वाले महाराजा चार्ल्स तृतीय के राज्याभिषेक से पहले उन्हें परंपरागत ‘पुनेरी पगड़ी' और ‘उपरने' उपहार स्वरूप भेजी हैं. ‘पुनेरी पगड़ी' 19वीं सदी से प्रचलित परंपरागत पगड़ी है जिसे महाराष्ट्र के पुणे क्षेत्र में गौरव और सम्मान का प्रतीक माना जाता है. वहीं ‘उपरने' पुरुषों द्वारा परंपरागत समारोहों में कंधे पर डाला जाने वाला दुपट्टा है. डब्बा वाले मुंबई में घरों और रेस्तरांओं से दफ्तर तक लोगों को गर्म खाना पहुंचाते हैं. समय पर खाना पहुंचाने की उनकी यह व्यवस्था दुनियाभर में प्रसिद्ध है. मुंबई के डब्बा वालों का ब्रिटिश शाही परिवार से पुराना नाता है. जब प्रिंस चार्ल्स 2003 में भारत आये थे, तो उन्होंने डब्बा वालों से मुलाकात की थी और उनकी कार्यशैली की प्रशंसा की थी.

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महाराजा चार्ल्स राजकीय यात्रा पर भारत आने के इच्‍छुक! 
भारतीय मूल के मशहूर कारोबारी लॉर्ड करन बिलिमोरिया ने हाल ही में कहा था कि ब्रिटेन के महाराजा चार्ल्स तृतीय राजकीय यात्रा पर भारत जाने की इच्छा रखते हैं और इसकी योजना शीघ्र बनाई जानी चाहिए.

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ब्रिटेन के महाराजा चार्ल्स तृतीय और महारानी कैमिला के राज्याभिषेक समारोह से पहले बिलिमोरिया ने संसद परिसर में वेस्टमिन्टर हॉल में सांसदों के एक समूह से बातचीत के दौरान कहा कि उन्हें भारत-ब्रिटेन संबंधों का मुद्दा उठाने का अवसर मिला और उन्होंने महाराजा से भारत की यात्रा पर जाने के संबंध में विचार करने का अनुरोध किया. इससे पहले महाराजा चार्ल्स तृतीय नवंबर 2019 को भारत गए थे. उस वक्त वह प्रिंस ऑफ वेल्स थे और उन्होंने अपना 71वां जन्मदिन मुंबई में मनाया था.

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