Explainer: Lassa fever से क्यों सहमा है UK? कितनी 'जानलेवा' है Virus से फैली ये बीमारी?

Lassa Fever एक तेज वायरल संक्रमण (Viral Infection) है जो अफ्रीका के अंदरूनी इलाकों में फैलता है. UK की स्वास्थ्य सुरक्षा एजेंसी (UKHSA)ने बताया था कि Lassa से मारे गए मरीज को इबोला (Ebola) जैसे लक्षण आए थे और दो और लोग संक्रमित हो गए थे. 

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लंदन:

ब्रिटेन (UK) में कोरोनावायरस (Coronavirus) के  बाद अब लासा बुखार (Lassa fever) का भय बढ़ता जा रहा है. ब्रिटेन (Britain) में अब तक लासा बुखार (Lassa fever) संक्रमण के पिछले कुछ दिनों में ही तीन मामले सामने आए हैं. इनमें से एक की मौत हो गई. द गार्डियन की खबर के मुताबिक इस जानलेवा Lassa fever से जुड़े  तीनों मामले उनकी पश्चिम अफ्रीका (West Africa)की हालिया यात्रा से जुड़े हैं. ब्रिटेन में 'बेडफोर्डशायर' के एक अस्पताल में संक्रमण से मारे गए मरीज को  Lassa fever होने की पुष्टि हुई थी. BBC के मुताबिक पिछले हफ्ते 'लुटॉन एंड डंस्टेबल अस्पताल' में इस मरीज की  Lassa के गंभीर संक्रमण से मौत हुई थी. यह एक नवजात बच्चा बताया जा रहा है. Lassa एक तेज वायरल संक्रमण है जो अफ्रीका के अंदरूनी इलाकों में फैलता है. UK की स्वास्थ्य सुरक्षा एजेंसी (UKHSA) ने शुक्रवार को बताया था कि बेडफोर्डशायर' में Lassa से मारे गए मरीज को इबोला (Ebola) जैसे लक्षण आए थे और दो और लोग संक्रमित हो गए थे. 

क्या है Lassa fever?

लासा एक वायरस (Virus) से होने वाला तेज बुखार है. लासा एक जानवेला एक्यूट वायरल हेमरेजॉनिक बीमारी (acute viral hemorrhagic illness) है. मायोक्लीनिक ऑर्गनाइज़ेशन के अनुसार वायरल हेमरेजॉनिक बुखार एक संक्रामक बीमारी है जिससे जान को खतरा हो सकता है. इससे रक्त वाहिकाओं (blood vessels) की बारीक दीवारों को नुकसान पहुंच सकता है. इससे उनसे खून बहना शुरू हो जाता है और फिर रक्त के थक्के जमने की क्षमता भी प्रभावित हो सकती है. इसकी वजह से शरीर के भीतर ही खून रिसने (internal bleeding) लगता है. 

WHO के अनुसार लासा फीवर एरिनाविरिडे (Arenaviridae)वायरस परिवार से संबंधित है. इसका असर 2 से 21 दिन तक रहता है. लासा के लिए अभी तक किसी वैक्सीन को मंजूरी नहीं मिली है लेकिन बेनिन(Benin), घाना (Ghana),गिनी (Guinea),लाइबेरिया( Liberia), माली (Mali), सिएरा लियोन (Sierra Leone), और नाइजीरिया (Nigeria) में यह एक महामारी (Endemic) है. साथ ही 

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Lassa fever के लक्षण क्या हैं?

इसमें बुखार के साथ शरीर में दर्द होता है. संक्रमण बढ़ने पर सिरदर्द, उल्टी और दस्त भी हो सकते हैं. कुछ मामलों में मुंह और नाक से खून भी आना शुरू हो सकता है. 

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Lassa fever कैसे फैलता है? 

इंसानों में लासा बुखार चूहों के पेशाब और मल से खराब हुआ संक्रमित खाना खाने से फैल सकता है. यह इबोला जैसा वायरस है जो बीमार व्यक्ति के बॉडी फ्लूइड्स  (body fluids) से भी फैल सकता है लेकिन यह इंसान से इंसान में तेजी से नहीं फैलता.  WHO के अनुसार इंसानों में इसके हवा के ज़रिए फैलने के कोई सबूत नहीं हैं. 

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कितना घातक है Lassa fever?

अधिकतर लोग लासा बुखार से पूरी तरह ठीक हो जाते हैं लेकिन यह बीमारी गंभीर रूप भी ले सकती है. WHO के अनुसार लासा से कुल मृत्यु दर 1% है. लेकिन अस्पताल में भर्ती हुए गंभीर मामलों में यह  15% तक है. शुरुआती लक्षणों में ही इसके लक्षणों का उपाय करने से बचने के मौके अधिक रहते हैं. 

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UK में Lassa fever का क्या इतिहास रहा?

लासा फीवर को औपचारिक तौर पर सबसे पहले नाइजीरिया में 1969 में पहचाना गया था लेकिन 1980 के दशक तक UK में लासा का कोई मामला देखने को नहीं मिला था. लेकिन तब से अब तक ब्रिटेन में लासा के 11 मामलों की पुष्टि हुई, जिनमें से पिछले दिनों पहचाने गए तीन मामले भी शामिल हैं. 2009 के बाद पहली बार ब्रिटेन में लासा के मामलों की पुष्टि हुई है.  

UKHSA के अनुसार अब तक ब्रिटेन में साल 2000 के बाद चार लोगों की लासा से मौत हुई है. 
एक की मौत 2000 में हुई और दो 2009 में मारे गए लासा से चौथी मौत शुक्रवार को हुई.  

बुधवार को पूर्वी इंग्लैंज में दो मामले सामने आए थे. तीसरा शुक्रवार को Bedfordshire अस्पताल में मिला था लेकिन उस मरीज की मौत हो गई. 

ब्रिटेन में अभी भी लासा बुखार को जनता के लिए बेहद कम खतरे की श्रेणीं में रखा गया है.  
 

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