बाइडन प्रशासन ने बुधवार को कहा कि भारत को प्रमुख रक्षा उपकरणों की बिक्री देश की सुरक्षा एवं संप्रभुता के लिए अमेरिका की प्रतिबद्धता को दर्शाती है. अमेरिका द्वारा भारत को रक्षा उपकरणों की बिक्री का दायरा बढ़ाकर अब 20 अरब डॉलर तक कर दिया गया है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता नेड प्राइस ने अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘इस साल अमेरिका ने भारत के लिए 20 अरब डॉलर तक के रक्षा उपकरणों की बिक्री को मंजूरी दी है. रक्षा के क्षेत्र में बिक्री का दायरा बढ़ाने की पेशकश भारत की सुरक्षा एवं संप्रभुता के लिए हमारी प्रतिबद्धता है.''
यह पूछे जाने पर कि क्या बाइडन प्रशासन अन्य देशों के अलावा भारत के साथ भी अपने रक्षा सौदों की समीक्षा कर रहा है. इस पर प्राइस ने कहा, ‘यह वैश्विक, व्यापक, रणनीतिक साझेदारी के लिए हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाता है.'
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हाल में साक्षात्कार में अमेरिका में भारत के राजदूत तरणजीत सिंह संधू ने कहा था कि द्विपक्षीय सैन्य एवं सुरक्षा संबंध पहले की तुलना में अधिक मजबूत हुए हैं. संधू ने कहा कि अमेरिका द्वारा भारत को ‘प्रमुख रक्षा साझेदार' का दर्जा देना और ‘स्ट्रैटजिक ट्रेड ऑथोराइजेशन-1' के दर्जे को मान्यता देने तथा चार मूलभूत समझौतों पर हस्ताक्षर से दोनों देशों की सेनाओं के बीच सहयोग को बढ़ावा मिलेगा.
उन्होंने कहा कि भारत ने दोनों देशों की सेनाओं के बीच सहयोग के लिए अमेरिका के साथ लॉजिस्टिक्स एक्सचेंज मेमोरेंडम ऑफ एग्रीमेंट (लेमोआ), कम्युनिकेशंस कॉम्पैटिबिलिटी एंड सिक्योरिटी एग्रीमेंट (कॉमकासा), इंडस्ट्रियल सिक्योरिटी एनेक्स और बेसिक एक्सचेंज एंड कोऑपरेशन एग्रीमेंट (बेका) पर हस्ताक्षर किये हैं.