भारत में कोविड से मरने वालों की संख्या को लेकर सवाल-बवाल हुआ और फिर ठंडा हो गया. भारत का सारा मॉडल इसी पर आधारित लगता है कि जल्दी चर्चा टले और नई चर्चा हो, दर्शक की भी ट्रेनिंग यही है कि आज कुछ नया देखा जाए. जबकि नया के नाम पर बातें वही पुरानी हो रही होती हैं. बस जिस बात से दिक्कत होती है उसे पीछे कर दिया जाता है. 15 मई को प्रधानमंत्री ने राज्यों से कहा कि संख्या अधिक है तो अधिक बताएं. 15 दिन बीत गए लेकिन विपक्ष के राज्यों के ऐलान से आगे कुछ हुआ नहीं. दक्षिण अमेरिकी देश पेरू की जनता ने कोविड से मरने वालों की सरकारी संख्या को लेकर जब संदेह किया तो वहां की सरकार ने अप्रैल महीने में एक कमेटी बना दी. जिसमें पेरू और WHO के एक्सपर्ट थे. मई के अंत में इसकी रिपोर्ट आ गई है. इस रिपोर्ट को स्वीकार कर लिया गया है और पेरू के प्रधानमंत्री ने पैनल के सदस्यों का हुक्का पानी बंद करवाने की जगह उनका शुक्रिया अदा किया है.