मुंबई के जवेरी बाजार में रोजाना करोड़ों के सोने चांदी का कारोबार होता है. इसी बाजार के एक चौराहे पर अब से 32 साल पहले एक चमचमाती हुई आलीशान इमारत हुआ करती थी. 1993 में एक दिन गोविंद खैरनार नाम का एक बीएमसी का अधिकारी आया और उसने इस इमारत पर बुलडोजर चलाकर इस मलबे के देर में तब्दील कर दिया. आज बीएमसी उसे जगह को एक कूड़े घर के तौर पर इस्तेमाल कर रही है. दर्शन की इमारत थी. 12 मार्च 1993 के मुंबई बम कांड आरोपी मुस्ताक मेमन उर्फ टाइगर की. जब इस बात का खुलासा हुआ कि बम कांड का मास्टरमाइंड वही था तो दौड़ और उसके सहयोगियों के खिलाफ मुहिम चला रहे खैरनार में मेहमान की इमारत को भी जमीदोस्त कर दिया.