दुनिया के विभिन्न हिस्सों में जाने वाले हजारों भारतीय छात्रों ने अपनी शिक्षा के लिए धन इकट्ठा करने में कामयाबी हासिल की है. लेकिन अब अनिवार्य क्वारंटाइन की अतिरिक्त लागत उनकी विदेश में स्टडी प्लान को पूरी तरह से खतरे में डाल सकती है. ऐसी ही एक छात्रा हैं पूजा मिश्रा, जोकि बिहार की रहने वाली हैं. पूजा नीदरलैंड में पढ़ाई शुरू करने वाली थीं. लेकिन जो वो पढ़ाई के लिए पैसे जोड़ रखी थीं, इस अनिवार्य क्वारंटाइन की वजह से उनका सपना खतरे में पड़ता हुआ दिखने लगा. लेकिन पूजा ने ठान लिया कि वह इस क्वारंटाइन वाली चैलेंज से अपने सपने को टूटने नहीं देंगी, इसलिए वह बेताब होकर अतिरिक्त फंड की तलाश करने लगी. उन्हें ‘अनलॉक एजुकेशन कैंपेन’ के बारे में पता चला और उन्होंने अनुदान के लिए अपना आवेदन जमा करने का फैसला किया. अब अनलॉक एजुकेशन कैंपेन की बदौलत पूजा के क्वारंटाइन का खर्चा उठाया जाएगा.