ममता बनर्जी अभी दिल्ली होकर गईं तो अब चंद्रबाबू नायडू पधारे हैं. दोनों का मकसद एक ही है. 2019 में बीजेपी मुक्त भारत. ममता खुद विकल्प बनने का रास्ता तलाश रही हैं तो चंबाबू नायडू तीसरे मोर्चे के उन पुराने दिनों को याद कर रहे हैं जब वो प्रधानमंत्री बनवाया और हटवाया करते थे. चंद्रबाबू से आज आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल मिलने पहुंचे. वो ममता बनर्जी से भी मिले थे. यह बात अलग है कि केजरीवाल को काफी समय तक कांग्रेस की तरफ से ऐसा कोई न्योता नहीं मिला था. बहरहाल हम बात कर रहे हैं चंद्रबाबू नायडू की. मेरे सहयोगी श्रीनिवासन जैन से बातचीत में उन्होंने बताया कि कैसे पीएम नरेंद्र मोदी ने उन्हें पूरी तरह नजरअंदाज कर दिया.