पोंग, भाखड़ा बांधों से पानी छोड़े जाने के बाद पंजाब के होशियारपुर और रूपनगर जिलों में बाढ़ जैसे हालात

पंजाब सरकार ने सोमवार को जारी एक परामर्श में गुरदासपुर, अमृतसर, होशियारपुर, कपूरथला और तरणतारण जिलों में लोगों से व्यास नदी के निकट नहीं जाने को कहा था.

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होशियारपुर/रूपनगर:

पंजाब के होशियारपुर जिले में व्यास नदी तथा रूपनगर में सतलुज नदी के आसपास के कई गांव पोंग और भाखड़ा बांधों से पानी छोड़े जाने के बाद जलमग्न हो गए हैं. अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी.उन्होंने बताया कि कई ग्रामीणों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है और अधिकारी स्थिति पर नजर रखे हुए हैं. पोंग बांध से पानी छोड़ने का फैसला लिये जाने के बाद, पंजाब सरकार ने सोमवार को जारी एक परामर्श में गुरदासपुर, अमृतसर, होशियारपुर, कपूरथला और तरणतारण जिलों में लोगों से व्यास नदी के निकट नहीं जाने को कहा है.

सतलुज पर भाखड़ा बांध और व्यास नदी पर पोंग बांध (दोनों हिमाचल प्रदेश में) का जलस्तर संबद्ध जलग्रहण क्षेत्रों में भारी बारिश के बाद बढ़ रहा है. अधिकारियों ने बताया कि पोंग बांध से पानी छोड़े जाने के चलते होशियारपुर के, तलवारा, हाजीपुर और मुकेरियां गांवों में खेत जलमग्न हो गये. उन्होंने बताया कि निचले इलाके वाले गांवों और खेतों में तथा व्यास नदी के पास कुछ घरों में पानी घुस गया है. हाजीपुर ब्लॉक में बील सराइना गांव में तीन फुट पानी जमा हो गया है, जिसके चलते कुछ ग्रामीणों को पुरोचक में एक गुरुद्वारा में ठहराया गया है.

हाजीपुर इलाके के पट्टी नाम नगर, हंडोवाल, उलाहा, धाडे करवाल और पट्टी नवे घर गांव तथा तलवारा ब्लॉक के चंगढ़वान,चकमीरपुर और सतवाना गांव भी जलमग्न हो गये हैं. उन्होंने बताया कि मुकेरियां ब्लॉक के मेहताबपुर, मौली और नौशेरा गांवों के खेतों में भी पानी घुस गया है. तलवारा के थाना प्रभारी हरगुरदेव सिंह ने बताया कि बांध से पानी छोड़े जाने के बाद शाह नहर बराज के नजदीक फंसे पांच प्रवासियों को बचा लिया गया है. पुलिस ने बताया कि अन्य 15 श्रमिकों को चकमीरपुर गांव से सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया.

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नदी के पास स्थित चंघरवान गांव में नौ लोगों के एक परिवार को भी निकाला गया. होशियारपुर की उपायुक्त कोमल मित्तल ने कहा कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल, राज्य आपदा मोचन बल और गैर सरकारी संगठनों को राहत कार्यों में लगाया गया है. जिला प्रशासन ने विभिन्न स्थानों पर छह राहत शिविर स्थापित किये हैं. मित्तल ने बताया कि 450 लोगों को निकाला गया और राहत शिविरों व अन्य सुरक्षित स्थानों पर भेजा गया. उन्होंने बताया कि बाढ़ से करीब 30 गांव प्रभावित हुए हैं तथा इन गांवों के लोगों से स्वैच्छिक रूप से सुरक्षित स्थानों पर जाने की अपील की है.

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उन्होंने बताया कि स्थिति की करीबी निगरानी की जा रही है. बाढ़ प्रभावित इलाकों में किसी की जान जाने की अभी तक कोई सूचना नहीं है. तलवारा में व्यास बांध के मुख्य अभियंता अरुण कुमार सिदाना ने कहा कि पोंग बांध में जल प्रवाह 1.42 लाख क्यूसेक है और नियंत्रित तरीके से पानी छोड़ा जा रहा है. पोंग बांध में जल स्तर अभी 1,399.65 फुट है. भाखड़ा बांध में जलस्तर सोमवार को करीब 1,677 फुट रहा. रूपनगर जिले में, बेला ध्यानी, भानम, आनंदपुर साहिब में पलासी भी भाखड़ा बांध से पानी छोड़े जाने के बाद जलमग्न हो गये हैं.

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पंजाब के शिक्षा मंत्री एवं आनंदपुर साहिब के विधायक हरजोत बैंस ने कहा कि कुछ गांव भाखड़ा बांध से पानी छोड़े जाने से प्रभावित हुए हैं. उन्होंने कहा कि लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है और दहशत में नहीं आने की अपील की है. बैंस ने एक वीडियो संदेश में कहा कि हिमाचल प्रदेश में पिछले दो दिनों में भारी बारिश होने के बाद भाखड़ा बांध से उसका अतिरिक्त पानी छोड़ा गया है. बैंस ने सोशल मीडिया साइट ‘एक्स' (पूर्व में ट्विटर) पर कहा, ‘‘भाखड़ा बांध से पानी छोड़े जाने के चलते मेरे निर्वाचन क्षेत्र में कई गांव बुरी तरह से प्रभावित हुए हैं. हम लोगों को खतरनाक स्थानों से निकाल रहे हैं.''

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(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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