किसकी कमी से नींद नहीं आती है? अगर रात को नींद ना आए तो क्या करना चाहिए, जान‍िए क्‍या कहती है र‍िसर्च

नींद नहीं आने से दिमाग का क्या होता है? आधी रात में नींद खुल जाना और फिर दोबारा सोने में दिक्कत के कई कारण हो सकते हैं. इसमें तनाव से लेकर लिवर का ठीक से काम नहीं करना तक शामिल है.

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2 मिनट में नींद कैसे आएगी?

Sleep Disruption; हर दिन 6 से 8 घंटे की नींद सबके लिए जरूरी होती है. अच्छी और पूरी नींद हमें तरोताजा कर देती है और पूरे दिन एनर्जी पीएल फील करते हैं. कभी कभार रात में अचानक नींद खुल जाना आम बात है लेकिन अगर अक्सर ही आधी रात में नींद का खुलना ठीक नहीं होता है. इसका कारण टॉयलेट जाने की जरूरत, प्यास लगना, बुरा सपना या सोने की गलत पोजीशन (Kyo Raat Me Tut Jati Hai Neend) सकती है लेकिन हर दिन रात में नींद खुलने को हल्के में नहीं लेना चाहिए. हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें, तो आधी रात में 1 से 3 बजे के बीच नींद खुल जाना और फिर दोबारा सोने में दिक्कत के कई कारण (Raat Me Neend Tutne Ka Karan) हो सकते हैं. आइए जानते हैं रात में नींद खुलने के क्या कारणTutne होते हैं और ऐसे समय में क्या करना चाहिए (Raat Me Neend Tutne Par Kya Kare).

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रात में नींद खुलने के कारण ( Reason of sleep disruption in night)

रात में नींद खुलने के कई कारण हो सकते हैं. इसमें फिजिकल से लेकर मेंटल कारणों के साथ साथ कुछ बीमारियां भी शामिल हैं.

बढ़ती उम्र

बढ़ती उम्र का असर नींद पर असर पड़ता है. डॉक्टरों का कहना है कि जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, वैसे ही नींद की साइकिल में भी बदलाव आने लगता है. इसके कारण रात में नींद खुल सकती है.

तनाव

तनाव होने पर बॉडी में कुछ खास तरह के नर्व सिस्टम को एक्टिव कर देती है जिससे आधी रात लोगों की चौंक कर नींद टूट जाती है. विशेषज्ञों के अनुसार इसके कारण ब्लड प्रेशर में बदलाव आता है और दिल की धड़कन भी बढ़ जाती हैं.

दवाइयों का साइड-इफेक्ट

लंबे समय से अलग-अलग बीमारियों की दवाओं का सेवन करने के कारण नींद पर प्रभाव पड़ता है. रात में अचानक नींद टूटने का यह भी एक प्रमुख कारण हो सकता है. कभी कभी ली जाने वाली दवाओं में सर्दी-खांसी की दवाई तथा एंटी-डिप्रेसेंट्स दवाओं का असर नींद पर पड़ता है.  

लिवर की समस्या

अगर नींद रात के एक से तीन बजे के बीच खुल जाती है, तो लिवर का सही तरीके से फंक्शन न करना भी कारण हो सकता है. लिवर के सही तरीके से काम नहीं करने का असर ब्लड सर्कुलेशन पर पड़ता है जिससे नींद का टूट जाती है. तनाव के कारण भी लिवर ठीक से काम नहीं करता है.

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और भी कई कारण

इसके अलावा कई तरह की बीमारियां भी रात में नींद टूटने का कारण होती हैं. इनमें गैस्ट्रिक अर्थराइटिस, डिप्रेशन, न्यूरोपैथी मेनोपॉज, बढ़ा हुआ प्रोस्टेट, एक्टिव थायरायड ग्लैंड से लेकर नींद नहीं आने की बीमारी स्लीप एपनिया तक शामिल हैं.

रात को नींद खुल जाए तो क्या करना चाहिए (What to do if you wake up at night)

 रात में नींद टूट जाए तो सबसे जरूरी है शांत रहना और खुद पर दबाव न बनाना. बार बार घड़ी देखने और यह सोचने से कि नींद क्यों नहीं आ रही है, चिंता और तनाव को और बढ़ा सकता है. ऐसे में गहरी सांसें लें या मेडिटेशन का सहारा लें. बेडरूम का माहौल और बेड की स्थिति भी नींद को बाधित कर सकते हैं. उस पर ध्यान दें. बेडरूम और बेड साफ सुथरा होना चाहिए. बिस्तर पर लेटे हुए धीरे-धीरे गहरी सांस लें और ध्यान सांसों पर लगाएं. अगर 20 मिनट तक नींद न आए तो बेड से उठ जाएं और कोई एक्टिविटी करें जैसे किताब पढ़ना या हल्का म्यूजिक सुनना. ऐसे समय में मोबाइल, टीवी या लैपटॉप यूज करने से बचना चाहिए. इससे नींद पूरी तरह से गायब हो सकती है.

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