Char Dham yatra 2024 : चारधाम की यात्रा शुरू हो चुकी है. लाखों की संख्या में रोज श्रद्धालु चारधाम पहुंच रहे हैं. आपको बता दें कि यह यात्रा लोग मोक्ष की प्राप्ति के लिए करते हैं. यह सबसे कठिन धार्मिक यात्राओं में से एक है. इस यात्रा में शामिल चार मंदिर यमुनोत्री, गंगोत्री, केदारनाथ और बद्रीनाथ हैं. इसे छोटी चार धाम यात्रा भी कहते हैं. इस चार धाम यात्रा में शामिल पवित्र स्थल अलग-अलग देवी-देवताओं को समर्पित हैं, जैसे- केदारनाथ धाम भगवान शिव को समर्पित है, बद्रीनाथ भगवान विष्णु को समर्पित है, गंगोत्री माता गंगा और यमुनोत्री मां यमुना को समर्पित हैं. ऐसे में आप इस साल इन धामों की यात्रा करने के बारे में सोच रहे हैं, तो फिर हम यहां पर आपको इससे जुड़ी जरूरी बातें बताने वाले हैं, जो आपको जरूर जाननी चाहिए.
आमतौर पर यह यात्रा 12 दिन में पूरी हो जाती है. लेकिन आप सड़क मार्ग की बजाय चार धाम यात्रा के लिए हवाई मार्ग लेते हैं तो फिर अवधि घट सकती है.
हरिद्वार – ऋषीकेश – बरकोट – जानकी चट्टी – यमुनोत्री – उत्तरकाशी – हरसिल – गंगोत्री – घनसाली – अगस्तमुनि – गुप्तकाशी – केदारनाथ – चमोली गोपेश्वर – गोविन्द घाट – बद्रीनाथ – जोशीमठ – ऋषीकेश – हरिद्वार होकर जाएगा.
देहरादून (सहस्त्रधारा हेलीपैड)
यमुनोत्री (खरसाली हेलीपैड)
गंगोत्री (हरसिल हेलीपैड)
इसके बाद गुप्तकाशी हेलीपैड
केदारनाथ हेलिपैड
गुप्तकाशी
बद्रीनाथ
हेलिकाप्टर बुकिंग ऑनलाइन और ऑफलाइन हो सकती है.
चार धाम यात्रा से जुड़ी जरूरी बातें- चार धाम यात्रा का बायोमेट्रिक रजिस्ट्रेशन जरूरी है.
- आधार कार्ड, वोटर आईडी कार्ड, पैन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, या पासपोर्ट जैसे जरूरी दस्तावेज यात्रा में अपने साथ ले जाएं.
- यात्रा के दौरान गर्म जैकेट, दस्ताने, स्वेटर, ऊनी मोजे और जरूर रखें.
- यात्रा के दौरान अच्छे स्पोर्ट सूज जरूर पहनें.
कब तय होती है तिथि - Char Dham Yatra opening date
गंगोत्री और यमुनोत्री मंदिर के लिए यात्रा अक्षय तृतीया से शुरू होती है. केदारनाथ यात्रा की तिथि शिवरात्रि पर और बद्रीनाथ मंदिर के कपाट खुलने की तिथि बसंत पंचमी के दिन तय होती है. चारधाम यात्रा अप्रैल-मई में शुरू होती है और हर साल अक्टूबर-नवंबर में बंद हो जाती है.