'कांग्रेस की बात करते ही एक ही परिवार की तस्वीर सामने आती है' : हिमंत बिस्व सरमा

भाजपा के प्रदेश कार्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए सरमा ने कहा कि पार्टी को 18 साल से लेकर 25 साल तक के युवाओं को साथ लाने का लक्ष्य बनाना चाहिए ताकि उन्हें पार्टी के भविष्य के लिए सदस्य बनाया जा सके.

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गुवाहाटी:

असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस का जिक्र आते ही लोगों के मन में 'परिवारवादी पार्टी' का ख्याल आता है जबकि इसके विपरीत भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के जिक्र भर से लोगों को लगता है कि यहां तो कार्यकर्ता जमीनी स्तर से प्रधानमंत्री के पद तक पहुंच सकते हैं. भाजपा के प्रदेश कार्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए सरमा ने कहा कि पार्टी को 18 साल से लेकर 25 साल तक के युवाओं को साथ लाने का लक्ष्य बनाना चाहिए ताकि उन्हें पार्टी के भविष्य के लिए सदस्य बनाया जा सके.

उन्होंने कहा, "जब हम कांग्रेस की बात करते हैं तो हमारे दिमाग में एक परिवार की तस्वीर आती है. हालांकि, भाजपा में ऐसा नहीं है, जहां एक कार्यकर्ता बूथ स्तर से उठकर देश का प्रधानमंत्री बन सकता है." सरमा ने कहा कि भाजपा में माता-पिता की पहचान की आवश्यकता नहीं है बल्कि यहां रहने के लिए एकमात्र आवश्यकता राष्ट्र की सेवा है. उन्होंने कहा, "भाजपा चीन की कम्युनिस्ट पार्टी को पीछे छोड़ते हुए दुनिया की सबसे बड़ी और सबसे शक्तिशाली पार्टी बनी. पार्टी की नींव इतनी मजबूत है कि इसकी यात्रा अगले 100-200 वर्षों तक अनवरत जारी रहेगी और यह कभी भी एक परिवार की पार्टी नहीं बनेगी."

भाजपा में शामिल होने के नौ साल बाद अपनी सदस्यता का नवीनीकरण कराते हुए मुख्यमंत्री ने कार्यकर्ताओं से मतदान की उम्र हासिल करने वाले युवाओं को पार्टी में लाने की अपील की. उन्होंने असम में सदस्यता अभियान की शुरुआत करते हुए कहा, "हमें 18-25 साल की उम्र के युवाओं को सदस्यता देने की जरूरत है. वे हमारा भविष्य हैं और पार्टी को संभालेंगे." यह पहल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा सोमवार को दिल्ली में राष्ट्रव्यापी सदस्यता अभियान की शुरुआत के बाद की गई है.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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