भूस्खलन, चीख और भारी बारिश से दहल उठा त्रिकूट पर्वत, वैष्णो देवी यात्रा स्थगित, सेना तैनात, जानिए हर एक अपडेट

मलबे में दबे लोगों को निकालने के लिए सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन की टीमें लगातार जुटी हुई हैं.

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  • जम्मू-कश्मीर में भारी बारिश के कारण वैष्णो देवी मंदिर मार्ग पर भूस्खलन के कारण नौ श्रद्धालुओं की मौत हो गई
  • सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ तथा स्थानीय प्रशासन की टीमें राहत कार्य में जुटी हैं
  • जम्मू-श्रीनगर एवं किश्तवाड़-डोडा राष्ट्रीय राजमार्गों पर यातायात निलंबित है और कई ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं
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नई दिल्ली:

जम्मू-कश्मीर में जारी भारी बारिश ने तबाही मचाई है. मंगलवार को रियासी जिले की त्रिकुटा पहाड़ियों पर स्थित माता वैष्णो देवी मंदिर जाने वाले मार्ग पर भूस्खलन से बड़ा हादसा हो गया. दोपहर करीब तीन बजे अर्धकुआरी के पास इंद्रप्रस्थ भोजनालय के नजदीक हुए भूस्खलन की चपेट में आकर नौ श्रद्धालुओं की मौत हो गई, जबकि 21 से ज्यादा लोग घायल हैं. मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है क्योंकि कई लोग अब भी मलबे में फंसे हुए हैं.

राहत और बचाव कार्य जारी

मलबे में दबे लोगों को निकालने के लिए सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन की टीमें लगातार जुटी हुई हैं. कटरा और आसपास के इलाकों में सेना की तीन टुकड़ियां तैनात की गई हैं. एक टुकड़ी अर्धकुआरी, दूसरी ठाकरा कोट और तीसरी जौरियां के पास राहत कार्यों में लगी है. एनडीआरएफ ने जम्मू शहर और उसके आसपास के क्षेत्रों में फंसे लोगों को बचाने के लिए नौकाएं भी तैनात की हैं. 

यात्रा स्थगित, यातायात और संचार बाधित

हिमकोटि मार्ग पर सुबह से ही यात्रा रोक दी गई थी, जबकि पुराने मार्ग पर अपराह्न 1:30 बजे तक यात्रा जारी रही. लेकिन मौसम खराब होने के कारण बाद में पूरे मार्ग पर यात्रा स्थगित कर दी गई. भूस्खलन और बारिश की वजह से जम्मू-श्रीनगर और किश्तवाड़-डोडा राष्ट्रीय राजमार्गों पर यातायात निलंबित है. जम्मू आने-जाने वाली कई ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं. दूरसंचार सेवाएं ठप हो गई हैं, जिससे आपातकालीन राहत कार्यों में भी बाधा आ रही है.

बारिश से तबाही का आलम

मौसम विभाग के अनुसार पिछले 24 घंटे में कठुआ में 155.6 मिमी, डोडा में 99.8 मिमी, जम्मू में 81.5 मिमी और कटरा में 68.8 मिमी बारिश दर्ज की गई. तराना, उझ, तवी और चिनाब नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं. कठुआ के मोधोपुर बैराज का जलस्तर एक लाख क्यूसेक पार कर गया है, जिससे निचले इलाकों में बाढ़ की स्थिति बन गई है.

सीएम उमर अब्दुल्ला ने की आपात बैठक

मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने आपात बैठक कर सभी जिलों को हाई अलर्ट पर रहने का निर्देश दिया है. प्रभावित परिवारों को राहत, भोजन, पानी और दवाएं उपलब्ध कराने के आदेश दिए गए हैं. स्कूलों को 27 अगस्त तक बंद रखने और 10वीं-11वीं की परीक्षाएं स्थगित करने का निर्णय लिया गया है. 

सेना और एनडीआरएफ के जवान राहत में जुटे हैं

लोग अपनों की खबर लेने के लिए कटरा अस्पताल और वैष्णो देवी आधार शिविर में पहुंचे. बता दें कि कुछ घायलों को जम्मू से करीब 15 किलोमीटर दूर कटरा के नारायण अस्पताल में रेफर कर दिया  गया है. सेना और NDRF  कटरा और उसके आसपास बचाव और राहत कार्यों में जुटी हुई है.

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मलबे में दबे लोगों का रेस्क्यू जारी

अर्धकुंवारी स्थित इंद्रप्रस्थ भोजनालय के पास मलबे में दबे लोगों को निकालने के लिए बचाव दल जुटे हुए हैं. अब भी  कई लोगों के मलबे में फंसे होने की आशंका है. बता दें कि भूस्खलन कटरा शहर से पहाड़ी पर स्थित मंदिर तक 12 किलोमीटर के घुमावदार रास्ते के लगभग बीच में हुआ है. लैंडस्लाइड के बाद यात्रा स्थगित कर दी गई है.

दर्द में जम्मू-कश्मीर, पहले बादल फटा, अब लैंडडस्लाइड

जम्मू-कश्मीर हादसों से उबर नहीं पा रहा है. कुछ दिनों पहले किश्तवाड़ जिले के चिसोती में बादल फटने से भारी तबाही हुई थी. चिसोती में 14 अगस्त को बादल फटने से आई अचानक बाढ़ में 65 लोग मारे गए थे, जिनमें ज़्यादातर तीर्थयात्री थे जबकि 100 से ज़्यादा घायल हुए थे. कई लोग अब भी लापता हैं. अब माता वैष्णो देवी यात्रा में बड़ा हादसा हो गया है.

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