उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में MLC चुनाव में समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) को 4 सीटें मिलनी तय मानी जा रही है लेकिन इसके साथ ही सपा गठबंधन में दरार भी दिखने लगी है. उम्मीद लगाए बैठे सपा के कई घटक दल MLC सीट न मिलने से बाग़ी होते दिख रहे हैं. विधानसभा चुनाव में सपा के साथ आए महान दल प्रमुख केशव देव मौर्य ने तो सपा से गठबंधन भी तोड़ लिया है.
वहीं, दूसरे घटक दल के नेता ओपी राजभर भी अपने बेटे के लिए MLC की सीट चाहते थे. बेटे को सीट नहीं मिलने पर राजभर का भी दर्द छलका. उन्होंने कहा कि “मांगों उसी से जो दे दे ख़ुशी से.”
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समाजवादी पार्टी की तरफ से स्वामी प्रसाद मौर्य, शहनवाज़ खान, मुकुल यादव और जासमीर अंसारी ने नामांकन भरा है. फ़िलहाल चारों उम्मीदवारों में दो उम्मीदवार शहनवाज़ ख़ान और जासमीर अंसारी आज़म ख़ान के क़रीबी हैं. बात साफ़ है कि सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने आज़म ख़ान को खुश रखने में कोई कसर नहीं छोड़ी.
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उत्तर प्रदेश विधान परिषद चुनाव के लिए बीजेपी ने उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के अलावा चौधरी भूपेंद्र सिंह, दयाशंकर मिश्र ‘दयालु', जे पी एस राठौर, नरेंद्र कश्यप, जसवंत सैनी, दानिश आजाद अंसारी, बनवारीलाल दोहरे, और मुकेश शर्मा को उम्मीदवार बनाया है.
मौर्य के साथ ही सिंह, दायलु, राठौर, कश्यप, सैनी और अंसारी उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री हैं. मौर्य और सिंह का विधान परिषद के सदस्य के रूप में कार्यकाल छह जुलाई को समाप्त हो रहा है जबकि शेष फिलहाल किसी भी सदन के सदस्य नहीं हैं.