केंद्र सरकार ने अरहर और उड़द की दालों की महंगाई (Tur and Urad dal Mahngai) पर काबू पाने के लिए अहम कदम उठाया है. सरकार ने मंगलवार को घरेलू आपूर्ति बढ़ाने और कीमतों को नियंत्रण में रखने के तहत मार्च 2023 तक तुअर दाल और उड़द दाल (Pulses) के आयात को मुक्त श्रेणी में रखने का फैसला किया है. घरेलू उपलब्धता बढ़ाने और आवश्यक खाद्य वस्तुओं की कीमतों को नियंत्रण में रखने के सक्रिय कदम के तहत केंद्र ने 31 मार्च, 2023 तक तुअर और उड़द के आयात को 'मुक्त श्रेणी' के तहत रखने के निर्णय को अधिसूचित किया. इस फैसले ने अगले वित्त वर्ष में तुअर और उड़द के लिए आयात नीति व्यवस्था के संबंध में अटकलों पर विराम लगा दिया है.
बयान में कहा गया है कि इस सक्रिय उपाय से घरेलू उपलब्धता बढ़ाने के लिए इन दालों का निर्बाध आयात सुनिश्चित होगा. उम्मीद है कि इन दालों की पर्याप्त उपलब्धता से उपभोक्ताओं के लिए इनके दाम घटेंगे. सरकार ने 15 मई, 2021 से मुक्त श्रेणी के तहत तुअर, उड़द और मूंग के आयात की अनुमति दी थी और यह 31 अक्टूबर, 2021 तक ही वैध था. तुअर और उड़द के आयात के संबंध में मुक्त व्यवस्था को 31 मार्च, 2022 तक बढ़ा दिया गया था.
मुक्त श्रेणी का मतलब है कि आयात पर कोई पाबंदी नहीं होगी. उपभोक्ता मामलों के विभाग के अनुसार, 28 मार्च को अरहर दाल का अखिल भारतीय औसत खुदरा मूल्य 102.99 रुपये प्रति किलोग्राम था, जो एक साल पहले के 105.46 रुपये प्रति किलोग्राम से 2.4 प्रतिशत कम है. 28 मार्च को उड़द दाल का अखिल भारतीय औसत खुदरा मूल्य 104.3 रुपये प्रति किलो था, जो एक साल पहले के 108.22 रुपये प्रति किलो से 3.62 प्रतिशत कम है.