"सोचा था वो संस्कारी और सज्जन हैं": देवेंद्र फडणवीस के लगाए आरोपों पर बोले शरद पवार

देवेंद्र फडणवीस की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए शरद पवार ने कहा कि मुझे लगा कि देवेंद्र एक संस्कारी और सज्जन व्यक्ति हैं. मुझे कभी नहीं लगा कि वह झूठ का सहारा लेंगे और इस तरह का बयान देंगे.

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शरद पवार ने देवेंद्र फडणवीस के आरोपों को बताया निराधार.
मुंबई:

महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) नेता अजित पवार के साथ रातोंरात हाथ मिलाने के प्रकरण के तीन साल बाद उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इसपर खुलकर बात की है. उन्होंने सोमवार को कहा कि इस कवायद को एनसीपी प्रमुख शरद पवार का समर्थन प्राप्त था. डील को लेकर शरद पवार से ही बात हुई थी. फडणवीस की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए शरद पवार ने कहा, ‘‘मुझे लगा कि देवेंद्र एक संस्कारी और सज्जन व्यक्ति हैं. मुझे कभी नहीं लगा कि वह झूठ का सहारा लेंगे और इस तरह का बयान देंगे.''

एक निजी चैनल के कार्यक्रम में देवेंद्र फणडवीस ने कहा, ‘‘हमारे पास एनसीपी की ओर से प्रस्ताव आया था कि उन्हें एक स्थिर सरकार की जरूरत है. हमें मिलकर ऐसी सरकार बनानी चाहिए. हमने आगे बढ़ने और बातचीत करने का फैसला किया. बातचीत शरद पवार से हुई. फिर चीजें बदल गईं. आपने देखा कि चीजें कैसे बदलीं.''

कार्यक्रम के दौरान फडणवीस ने कहा, ‘‘पूरी निष्पक्षता के साथ मैं कहना चाहता हूं कि अजित पवार ने मेरे साथ ईमानदारी से शपथ ली... लेकिन बाद में उनकी (एनसीपी की) रणनीति बदल गई.'' 

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महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने 105 सीट पर जीत हासिल की थी. चुनाव के नतीजे 24 अक्टूबर, 2019 को घोषित हुए थे. बीजेपी के साथ गठबंधन में रही शिवसेना ने 56 सीट पर जीत हासिल की थी. गठबंधन के पास सरकार बनाने के लिए पर्याप्त सीट होने के बावजूद, दोनों सहयोगी दलों के बीच मुख्यमंत्री का पद किसको मिलेगा, इसको लेकर विवाद हो गया. 

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परिणामस्वरूप शिवसेना ने कांग्रेस और एनसीपी के साथ मिलकर सरकार बनाने के लिये बातचीत शुरू की. कोई नतीजा नहीं निकलने पर केंद्र ने 12 नवंबर को महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लागू कर दिया. शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी ने गठबंधन बनाने के लिए बातचीत जारी रखी. बाद में शरद पवार ने घोषणा की थी कि उद्धव ठाकरे को सर्वसम्मति से नयी सरकार का नेतृत्व करने के लिए चुना गया है.

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इसके बाद 23 नवंबर की सुबह फडणवीस और अजित पवार ने आनन-फानन में शपथ ले लिया और सरकार का ऐलान कर दिया. हालांकि, विवाद के बाद दोनों को इस्तीफा देना पड़ा. बाद में उद्धव ठाकरे की गठबंधन सरकार बनी. लेकिन 'ऑपरेशन लोटस' के तहत बीते साल महाराष्ट्र में सरकार गिर गई. अब शिवसेना के एक गुट के साथ बीजेपी की गठबंधन सरकार है. शिवसेना गुट के नेता एकनाथ शिंदे सीएम हैं और देवेंद्र फडणवीस डिप्टी सीएम बने हैं. (भाषा इनपुट के साथ)

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