सिद्धार्थनगर जिले के एक सरकारी अस्पताल में उत्तर प्रदेश के ग्रामीणों के एक समूह को कोरोना के टीकों की मिश्रित खुराक दिए जाने पर विवाद के जवाब में, केंद्र ने गुरुवार दोपहर कहा, यदि किसी व्यक्ति की दूसरी कोविड वैक्सीन की खुराक पहले से अलग है, तो उसपर कोई खास प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की संभावना नहीं है. गुरुवार को स्वास्थ्य मंत्रालय की प्रेस कॉन्फ्रेंस में नीति आयोग के सदस्य डॉक्टर वीके पॉल ने कहा, 'प्रोटोकॉल क्लियर है. पहली वाली का ही दूसरी डोज लगना चाहिए. इस मामले में जांच होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर दोनों अलग अलग वैक्सीन की डोज अगर लग जाए तो विपरीत असर नहीं होता. इस साइंटिफिक ओपिनियन को देखना होगा. अपील यही है कि जिसका पहला डोज उसी का दूसरा डोज लगाया जाए.'
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बता दें कि उत्तर प्रदेश के सिद्धार्थनगर ज़िले में कुछ लोगों को वैक्सीन की दोनों अलग अलग डोज देने का मामला सामने आया था. जिले के 20 लोगों को पहली डोज तो कोविशील्ड की लगी लेकिन दूसरी डोज उन्हें कोवैक्सीन की लगा दी गई. वैक्सीन के इस कॉकटेल के कारण लोगों में दहशत का माहौल है. ज़िले के CMO ने माना था कि यह गलती हुई है. दोषियों को पहचान लिया गया है, जल्द ही उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
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सिद्धार्थनगर के औदहीकलां गांव के एक ग्रामीण ने बताया था कि उन्हें और उनके साथियों को ज़िले के बढ़नी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर एक अप्रैल को कोविशील्ड लगाई गई थी. 14 मई को उन लोगों को टीके की दूसरी डोज लगाई गई. उनके टीका लगवाने के बाद जब ANM ने और टीका मंगवाया तब टीका जारी करने वाले डॉक्टर ने बताया कि उन लोगों को गलत टीका लग गया है. ग़लत टीका लगवाने वाले ग्रामीण अब किसी अनहोनी से डरे हुए हैं.
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