सावरकर समाज सुधारक थे, उनपर आधारित अध्याय को किताबों से हटाना दुर्भाग्यपूर्ण : गडकरी

नितिन गडकरी ने कहा कि सावरकर ने कहा था कि हिंदुत्व सर्व समावेशी और जातिवाद व सांप्रदायिकता से मुक्त है. उन्होंने कहा, “सावरकर समाज सुधारक थे और वह हमारे लिए एक आदर्श हैं.”

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गडकरी ने कहा कि सावरकर ने कहा था कि हिंदुत्व सर्व समावेशी और जातिवाद व सांप्रदायिकता से मुक्त है. (फाइल फोटो)
नागपुर:

मंत्री नितिन गडकरी ने शनिवार को कहा कि हिंदुत्व विचारक वी.डी. सावरकर समाज सुधारक और देशभक्त थे तथा यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि स्कूली पाठ्यक्रम से उनके और आरएसएस के संस्थापक के.बी. हेडगेवार के बारे में अध्यायों को हटाया जा रहा है.

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता गडकरी यहां 'वीर सावरकर' पुस्तक के विमोचन के अवसर पर बोल रहे थे.

गडकरी ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि देश के लिए सब कुछ न्यौछावर करने वाले एक व्यक्ति (सावरकर) और उसके परिवार को अपमान सहना पड़ा.

गडकरी ने कहा कि सावरकर ने कहा था कि हिंदुत्व सर्व समावेशी और जातिवाद व सांप्रदायिकता से मुक्त है. उन्होंने कहा, “सावरकर समाज सुधारक थे और वह हमारे लिए एक आदर्श हैं.”

गडकरी ने किसी का नाम लिए बगैर कहा कि यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि डॉ. हेडगेवार और सावरकर को स्कूली पाठ्यक्रम से हटाया जा रहा है और “इससे दर्दनाक कुछ भी नहीं है.”

उल्लेखनीय है कि कर्नाटक की कांग्रेस सरकार ने हाल ही में स्कूली पाठ्यपुस्तकों से सावरकर और हेडगेवार से संबंधित अध्याय हटा दिए थे.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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