प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को कवि और दार्शनिक तिरुवल्लुवर को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उनकी कालातीत शिक्षाएं समाज को सदाचार और अखंडता पर ध्यान केंद्रित करने के लिए प्रेरित करती हैं जो दुनिया में सद्भाव को बढ़ावा देती है. उन्होंने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘आज हम उस महान तमिल ऋषि की याद में तिरुवल्लुवर दिवस मनाते हैं, जिनका तिरुक्कुरल में गहरा ज्ञान जीवन के कई पहलुओं में हमारा मार्गदर्शन करने में मदद करता है. उनकी कालातीत शिक्षाएं समाज को सदाचार और अखंडता पर ध्यान केंद्रित करने के लिए प्रेरित करती हैं जो कि दुनिया में सद्भाव और समझ को बढ़ावा देती हैं.''
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘हम उनके द्वारा समर्थित सार्वभौमिक मूल्यों को मूर्त रूप देकर उनके दृष्टिकोण को पूरा करने के अपने कमिटमेंट को भी दोहराते हैं.''
बता दें कि तिरुवल्लुवर की जयंती के उपलक्ष्य में 'तिरुवल्लुवर दिवस' मनाया जाता है. तिरुवल्लुवर, तमिल संस्कृति में एक सम्मानित व्यक्ति हैं. उन्हें मुख्य रूप से 'तिरुक्कुरल' के लिए जाना जाता है जो राजनीति, प्रेम, नैतिकता और अर्थशास्त्र से संबंधित विषयों पर दोहों का एक संग्रह है.