- प्रधानमंत्री मोदी ने ई संजीवनी सेवा को केवल सुविधा नहीं बल्कि आम जनता के लिए भरोसेमंद सहायता बताया है
- ई संजीवनी ऐप के माध्यम से अब तक 42 करोड़ से अधिक लोग ओपीडी कंसल्टेशन का लाभ ले चुके हैं
- पीएम मोदी ने कहा कि इनकम टैक्स और जीएसटी में लिए गए फैसलों से देशवासियों को करोड़ों रुपये की बचत हुई है
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने NDTV वर्ल्ड समिट में ई संजीवनी सुविधा का भी जिक्र किया. पीएम मोदी ने कहा कि ई संजीवनी सिर्फ एक सुविधा नहीं है, एक भरोसा है. आज भारतीयों को पता है कि ई संजीवनी की वजह से उन्हें किसी भी संकट में तुरंत सहायता मिलेगी. मै आपको बता दूं कि एक संवेदनशील सरकार ऐसे ही निर्णय लेती है. और ऐसी ही नीतियां बनाती है जो आम नागरिकों के लिए फायदेमंद हो. हमने बीते कुछ समय में इनकम टैक्स और जीएसटी को लेकर भी बड़े फैसले लिए हैं. और उन्हीं निर्णयों के कारण आज इनकम टैक्स और जीएसटी दोनों कदमों से देशवासियों को करीब ढाई लाख लोग करोड़ रुपये की बचत तय है.
पीएम मोदी ने कहा कि मैं आज देश की सफलता का एक तीसरा पक्ष भी आपके सामने रखता हूं. जब दूर सुदूर के इलाकों में ऐसी सुविधाएं पहुंचती है तो वहां के लोगों का जीवन कैसे बदलता है, आपने शायद ई संजीवनी के विषय में नहीं सुना है, मान लीजिए एक परिवार वो दूर कहीं जंगलो में है उसका एक सदस्य बीमार है. खराब मौसम के कारण वो बीमार मरीज को डॉक्टर के पास नहीं ले पाएगा तो वो क्या करेगा ई संजीवनी ऐसी स्थिति में मदद कर रहा है. ई संजीवनी ऐप के माध्यम से डॉक्टर से जोड़ देता है. अब तक ई संजीवनी के माध्यम से 42 करोड़ लोग ओपीडी कंसल्टेशन ले चुके हैं, 4 जी कोई सुविधा नहीं है, ये जरूरत है.
उन्होंने कहा कि हमारी सरकार का जोर लोगों के जीवन को आसान बनाना है. लोगों की बचत करने का है, जैसे एक जीबी डेटा 2014 के पहले 300 रुपये में आता है अब वही डेटा 10 रुपये मेंआता है यानी हर भारतीय की जेब में सालाना हजारों रुपये बतचता है. आयुष्मान भारत से सवा लाख करोड़ रुपये गरीबों की बचत हुई है. हार्ट के स्टैंट की कीमतें कम होने से सलाना 12 हजार करोड़ बचा है. इनकम टैक्स होया जी एसटी कम किया गया है 12 लाख की इनकम टैक्स कम किया है, जीएसटी उत्सव जोरों पर चल रहा है.