केंद्र सरकार ने बृहस्पतिवार को स्पष्ट किया कि अंतरराष्ट्रीय यात्रा के लिए वर्तमान में कोविड-19 का टीका लेने वाले लोगों के लिए कोई ‘‘बहुपक्षीय प्रोटोकॉल'' नहीं है. हालांकि कुछ देशों ने इसके लिए कुछ नियम तय किए हैं लेकिन भारत सरकार टीकों को पारस्परिक मान्यता देने के लिए विभिन्न देशों के संपर्क में है. विदेश राज्य मंत्री वी मुरलीधरन ने राज्यसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में यह जानकारी दी. उन्होंने कहा, वर्तमान में कोविड-19 का टीका लेने वाले लोगों की यात्रा के लिए कोई बहुपक्षीय प्रोटोकॉल नहीं है. अधिकतर देशों को देश विशेष कोविड प्रोटोकॉल के अनुपालन के साथ-साथ निगेटिव कोविड-19 रिपोर्ट की आवश्यकता होती है.''
जातिगत जनगणना के मसले पर भेजा है लेटर, पीएम से मिलने के लिए समय मांगा है - नीतीश कुमार
दरअसल, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुब्रमण्यम स्वामी ने सरकार से जानना चाहा था कि क्या कुछ देशों ने अपने यहां आने वाले यात्रियों के लिए भारतीय एजेंसियों द्वारा जारी किए गए कोविड-19 टीकाकरण संबंधी प्रमाणपत्रों को अभी तक मान्यता नहीं दी है. इसके जवाब में मुरलीधरन ने कहा कि कोविड-19 महामारी के कारण सामान्य अंतरराष्ट्रीय यात्रा सेवाएं स्थगित रही हैं. एयर बबल और वंदे भारत मिशन सहित विशेष व्यवस्थाओं द्वारा अंतरराष्ट्रीय हवाई यात्रा की जा रही हैं और इस तरह की यात्रा का टीकाकरण प्रमाण पत्र से कोई सीधा संबंध नहीं है.
उन्होंने कहा, ‘‘ चूंकि कुछ देशों ने टीकाकरण के संबंध में अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है जिसमें यात्रियों को पृथकवास से छूट प्रदान की गई है. इसलिए भारत टीकाकरण प्रमाण पत्रों की पारस्परिक मान्यता के लिए विभिन्न देशों के संपर्क में है.'' उन्होंने कहा कि हालांकि कोविड-19 टीकाकरण प्रमाणपत्रों पर अंतरराष्ट्रीय नागरिक उड्डयन संगठन (आईसीएओ) के तत्वाधान में भी बहुपक्षीय चर्चाएं हुई हैं परंतु आजतक कोई बहुपक्षीय व्यवस्था संपन्न नहीं हुई है. उन्होंने कहा, ‘‘भारत चल रही चर्चाओं का हिस्सा रहा है.''