- इंदौर में एक 18 साल के ग्राफिक डिजाइनर और नीट की तैयारी कर रही लड़की ने ज्वेलरी शॉप से 16 लाख के गहने चोरी किए
- दोनों आरोपियों ने हिंदी फिल्म 'बंटी और बबली' देखकर चोरी की साजिश बनाई और चोरी को अंजाम दिया था
- लड़के की नौकरी एआई तकनीक के बढ़ने से चली गई थी, जिससे वह आर्थिक तंगी में आ गया था और चोरी करने को मजबूर हुआ
मध्य प्रदेश के इंदौर में चोरी का एक अजब मामला सामने आया है. सिर्फ 18 साल के ग्राफिक डिजाइनर लड़के और डॉक्टरी पढ़ रही लड़की ने फिल्म 'बंटी और बबली' देख ज्वेलरी शॉप में 16 लाख रुपये के गहनों पर हाथ साथ कर दिया. 18 साल के एक लड़के और उसकी दोस्त ने अभी करियर की शुरुआत ही की थी. लड़के को ग्राफिक डिजाइनर का कोर्स करने के बाद पार्ट नौकरी मिल गई थी. लेकिन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंट (AI) के बढ़ते प्रभाव के कारण लड़के की नौकरी चली गई. ऐसे में लड़का लड़की ने जल्दी अमीर बनने के लिए मेहनत का रास्ता छोड़ शॉर्टकट लेने का फैसला किया. फिल्म 'बंटी और बबली' से इंस्पायर्ड होकर इन्होंने चोरी करने का प्लान बनाया. मध्य प्रदेश के इन बंटी बबली ने के इंदौर में एक ज्वेलरी की दुकान पर हाथ साफ किया और लगभग 16 लाख रुपये के गहने चुरा लिये.
बेच नहीं पाए चोरी के गहने
इंदौर की ज्वेलरी शॉप से गहने चुराने के बाद अब बंटी बबली के सामने समस्या थी कि वो इन्हें बेचे कैसे? सिर्फ 18 साल का ये कपल कई ज्वेलरी शॉप पर गहनों को लेकर गया, लेकिन इनकी उम्र देख सभी इनको बहुत कम पैसे ऑफर कर रहे थे. ऐसे में इन बंटी बबली ने तय किया कि क्रिसमस के बाद चोरी के माल को ठिकाने लगाएंगे. इसके बीच ही ये पुलिस के हत्थे चढ़ गए.
लड़का ग्राफिक डिजाइनर, लड़की कर रही नीट की तैयारी
पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) श्रीकृष्ण लालचंदानी ने बताया कि राऊ थाना क्षेत्र में 22 दिसंबर की रात एक दुकान से कुल 16.17 लाख रुपये मूल्य के सोने, चांदी और हीरे की ज्वेलरी चोरी हुई थी. इस चोरी के आरोप में एक युवा जोड़े को गिरफ्तार किया गया है. लालचंदानी ने बताया कि आरोपियों के कब्जे से चोरी का पूरा माल बरामद कर लिया गया है. उन्होंने आरोपियों की पहचान का खुलासा किए बगैर बताया कि दोनों आरोपियों की उम्र 18 साल है. इनमें शामिल युवक पेशे से ग्राफिक डिजाइनर है, जबकि युवती राष्ट्रीय पात्रता-सह-प्रवेश परीक्षा (नीट) की तैयारी कर रही है. दोनों बचपन से एक-दूसरे को जानते हैं.
AI ने ली लड़के की नौकरी
डीसीपी ने बताया,'पूछताछ के दौरान लड़के ने हमें बताया कि वह सूचना प्रौद्योगिकी क्षेत्र की एक कंपनी में ग्राफिक डिजाइनर के तौर पर पार्ट-टाइम नौकरी करता था, लेकिन कंपनी द्वारा एआई तकनीक अपनाए जाने के कारण उसका रोजगार अचानक चला गया था. इससे उसे गुजारे में दिक्कत हो रही थी. ऐसे में वह गलत रास्ते पर चलने के लिए मजबूर हो गया. लड़के ने अपनी दोस्त के साथ मिलकर ज्वेलरी शॉप में चोरी का प्लान बनाया और इसमें कामयाब भी रहे.
'बंटी और बबली' देख बन गए चोरी
लालचंदानी के मुताबिक आर्थिक तौर पर कमजोर परिवारों से ताल्लुक रखने वाले आरोपियों ने दावा किया कि उन्होंने हिन्दी फिल्म ‘बंटी और बबली' देखने के बाद चोरी की साजिश रची थी. उन्होंने बताया कि चोरी की वारदात को अंजाम देने के बाद युवक और उसकी महिला मित्र फरार हो गए थे और उन्हें भोपाल से हिरासत में लिया गया. डीसीपी ने बताया कि आरोपियों का कहना है कि उन्होंने चोरी के जेवरात बेचने की कोशिश की थी, लेकिन खरीददार उन्हें बच्चा समझकर इनकी सही कीमत नहीं दे रहे थे. उन्होंने तय किया था कि वे इन जेवरात को क्रिसमस की छुट्टियों के बाद बेचेंगे.














