महाराष्ट्र के हिंगोली जिले में एक 38 साल की नर्स की डिलीवरी के दौरान मौत हो गई. स्वास्थ्य अधिकारी ने मंगलवार को बताया कि नर्स ने करीब 5000 महिलाओं की डिलीवरी में सहायता की थी और अपने बच्चे को जन्म देने के बाद कॉम्प्लिकेशन (जटिलताओं) के चलते उनकी मौत हो गई. उन्होंने बताया कि ज्योति गवली ने दो नवंबर को हिंगोली सिविल अस्पताल में अपने दूसरे बच्चे को जन्म दिया. निमोनिया और अन्य जटिलताओं की वजह से रविवार को नांदेड़ में एक मेडिकल फैसिलिटी में उनकी मौत हो गई.
हिंगोली सिविल अस्पताल के रेसिडेंट मेडिकल अफसर गोपाल कदम ने बताया, "ज्योति गवली हिंगोली सिविल अस्पताल के लेबर रूम में तैनात थीं. अपनी प्रेग्नेंसी के अंतिम दिन तक उन्होंने काम किया और फिर डिलीवरी के लिए चली गईं. वह डिलीवरी के बाद मातृत्व अवकाश लेने जा रही थीं."
उन्होंने कहा कि गवली पिछले दो साल में सिविल अस्पताल में नर्स के रूप में काम रही थी. इससे पहले, करीब तीन साल वह दो अन्य हेल्थ सेंटर्स में काम कर चुकी थीं.
अधिकारी ने कहा कि उन्हें डिलीवरी के लिए दो नवंबर को सिविल अस्पताल में भर्ती किया गया. जटिलताओं की वजह से उन्हें उसी दिन नांदेड़ के अस्पताल के लिए रेफर कर दिया गया. उन्होंने कहा कि बाद में गवली को डबल निमोनिया (Bilateral Pneumonia) की शिकायत होने के बाद नांदेड़ में प्राइवेट अस्पताल में भर्ती किया गया. उन्हें ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया.
अधिकारी ने कहा, "रविवार को उनकी मौत हो गई. हम आम तौर पर एक दिन में अपनी मेडिकल फेसिलिटी में 15 डिलीवरी करते हैं. गवली ने अपनी पांच साल की सर्विस में करीब 5,000 डिलीवरी में मदद की होगी."