महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव (Maharashtra Assembly Eections) महायुति को शानदार जीत मिली. हालांकि परिणाम सामने आने के एक सप्ताह बाद भी अब तक राज्य का मुख्यमंत्री कौन होगा यह तय नहीं हो पाया है. हालांकि अब यह लगभग तय है कि सीएम पद बीजेपी के हिस्से आने वाला है लेकिन नाम को लेकर अब तक कोई ऐलान सामने नहीं आया है. एनसीपी नेता अजित पवार ने शनिवार को कहा था कि सीएम बीजेपी का होगा और दोनों ही सहयोगी दलों से एक-एक उपमुख्यमंत्री होंगे. अब चर्चा है कि राज्य में नई सरकार का गठन 5 दिसंबर को होने वाला है.
महाराष्ट्र में नयी महायुति सरकार पांच दिसंबर की शाम मुंबई के आजाद मैदान में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मौजूदगी में शपथ लेगी. भाजपा की प्रदेश इकाई ने शनिवार को यह जानकारी दी. हालांकि, अभी तक यह घोषणा नहीं की गई है कि मुख्यमंत्री कौन होगा, लेकिन भाजपा सूत्रों ने बताया कि देवेंद्र फडणवीस इस शीर्ष पद की दौड़ में सबसे आगे हैं। वह दो बार मुख्यमंत्री रह चुके हैं और पूर्ववर्ती एकनाथ शिंदे नीत सरकार में उप मुख्यमंत्री थे.
शिवसेना प्रमुख एवं जून 2022 से मुख्यमंत्री रहे शिंदे ने बृहस्पतिवार रात दिल्ली में भाजपा के वरिष्ठ नेता अमित शाह के साथ सत्तारूढ़ गठबंधन के नेताओं की बैठक में हिस्सा लिया. इससे पहले, शिंदे ने स्पष्ट कर दिया था कि भाजपा के शीर्ष नेतृत्व द्वारा मुख्यमंत्री पद पर कोई भी फैसला उन्हें स्वीकार्य होगा.
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के अध्यक्ष अजित पवार ने शनिवार को यहां कहा कि महाराष्ट्र का अगला मुख्यमंत्री भारतीय जनता पार्टी (BJP) से होगा और सत्तारूढ़ ‘महायुति' के अन्य घटकों से दो उपमुख्यमंत्री होंगे.
शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने शनिवार को दावा किया कि महाराष्ट्र में सरकार गठन में देरी इसलिए हो रही क्योंकि सत्तारूढ़ महायुति में शामिल पार्टियों ने कभी नहीं सोचा था कि वे दोबारा सत्ता में आएंगी.
शिवसेना नेता संजय शिरसाट ने शनिवार को कहा कि महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री कौन होगा इस बात का जवाब अभी तक किसी को मिला नहीं है ,कल मैंने कहा था की एकनाथ शिंदे एक बड़ा निर्णय लेंगे. मुख्यमंत्री कल अपने गांव गए है. वो अपनी शांति के लिए वहां जाते है.
महायुति के सबसे बड़े दल बीजेपी के नेताओं ने कहा कि वे विधायक दल की बैठक के लिए केंद्रीय पर्यवेक्षकों के आने का इंतजार कर रहे हैं. इस बीच, शिवसेना नेता उदय सामंत ने इन अटकलों को खारिज कर दिया कि शिंदे नाराज हैं.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में हार के बाद कुछ विपक्षी दलों द्वारा इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) की विश्वसनीयता को लेकर फिर से शुरू की गई बहस के बीच मानवाधिकार कार्यकर्ता मेधा पाटकर ने शनिवार को कहा कि कई देशों ने इसका इस्तेमाल बंद कर दिया है. कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने हाल ही में सुझाव दिया था कि चुनाव प्रणाली में मतपत्र का इस्तेमाल फिर से शुरू किया जाना चाहिए.
राज्य में 20 नवंबर को हुए चुनाव में विपक्षी महा विकास आघाडी (एमवीए) को करारी शिकस्त मिली. एमवीए में शामिल कांग्रेस ने 16, शरद पवार नीत राकांपा (एसपी) ने 10 और उद्धव ठाकरे नीत शिवसेना ने 20 सीट हासिल की.
शरद पवार सहित एमवीए नेताओं ने सामाजिक कार्यकर्ता बाबा आढाव के साथ एकजुटता व्यक्त की, जिन्होंने हाल के चुनाव में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) के कथित दुरुपयोग के खिलाफ तीन दिन पहले पुणे में विरोध प्रदर्शन शुरू किया था.
कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के प्रमुख नाना पटोले ने शनिवार को दावा किया कि हाल में हुए विधानसभा चुनाव के नतीजे पारदर्शिता की कमी को दर्शाते हैं और कहा कि सरकार तथा निर्वाचन आयोग को चुनावी प्रक्रिया पर लोगों के संदेह को दूर करने की जरूरत है. उन्होंने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के फैसले को ‘‘लोकतंत्र की हत्या'' करार दिया.